POLITICS NEWS

लोक कल्याण के लिए समर्पित नेता थे अटलजी: ग्वालियर में बोले अमित शाह, अभ्युदय मप्र ग्रोथ समिट में देश को दिए योगदान को भी किया याद
ग्वालियर। पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी की 101वीं जयंती के अवसर पर ग्वालियर में ‘अभ्युदय मध्यप्रदेश ग्रोथ समिट निवेश से रोजगार’ का आयोजन किया गया। केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह और मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने अटल जी की तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित कर मेला ग्राउंड में आयोजित राज्य स्तरीय कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इस दौरान विधानसभा अध्यक्ष नरेन्द्र सिंह तोमर और केन्द्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया मौजूद रहे। इस अवसर पर उन्होंने करीब 2 लाख करोड़ रुपये की औद्योगिक परियोजनाओं का लोकार्पण और भूमिपूजन भी किया। इन परियोजनाओं से राज्य में लगभग 1.93 लाख रोजगार अवसर सृजित होने की संभावना जताई गई है। केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने भारत रत्न, पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को उनकी जन्म जयंती पर याद करते हुए कहा कि वाजपेयी राजनीति के अजातशत्रु थे, जिन्होने भारत का दुनिया के सामने मान बढ़ाया। उन्होंने ग्वालियर अंचल के देश के लिए दिए गए योगदान को याद किया और अटल बिहारी से जुड़े प्रसंगों का जिक्र किया। इस दौरान शाह ने अटलजी को राजनीति का अजातशु भी बताया। ग्वालियर ने सदियों तक दी भारत को ऊर्जा केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि ग्वालियर क्षेत्र ने अनेक सदियों तक भारत को कई मायने में ऊर्जा और गति देने का काम किया है। जब मुगलों के सामने लड़ना था तब यहीं से लड़ाई की शुरुआत हुई। तानसेन से लेकर आज तक सांस्कृतिक विरासत को शक्ति देने का काम किया। इस क्षेत्र के किसानों ने हमेशा इस देश की कृषि को नई दिशा गति और ऊर्जा भी दी है। सबसे बड़ी बात, इसी क्षेत्र ने आजादी के कालखंड के बाद बड़ी मात्रा में पैरामिलिट्री फोर्स और मिलिट्री में जवान देने का काम किया है। अटलजी ने सुशासन की तक की यात्रा को आगे ले जाने का किया कामपूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी की चर्चा करते हुए केंद्रीय गृहमंत्री शाह ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री का बड़ा कालखंड इसी क्षेत्र में बीता और अटल को अटल बिहारी बनाया। उन्होंने न केवल इस देश की सांस्कृतिक विरासत को बचाने में मदद की बल्कि पूरे जीवन स्वराज को सुशासन तक की यात्रा को आगे ले जाने का काम किया। उन्होंने उस जमाने में जब अंग्रेजी का बोलबाला था तब यूएन की परिषद में हिंदी में भाषण करके पूरे भारत का दिल जीतने का काम किया। जब वे प्रधानमंत्री बने उस समय देश के जनजाति के लिए कोई अलग विभाग नहीं था। उनके नेतृत्व में ही भारत सरकार में जनजाति विभाग बनने का काम हुआ और जनजातीय कल्याण की नई यात्रा शुरू हुई। कांग्रेस की इस दकियानूसी विचाराधारा को अटलजी ने तोड़ापूर्व प्रधानमंत्री के कार्यकाल में अधोसंरचना के क्षेत्र में हुए कार्यों की चर्चा करते हुए केंद्रीय गृहमंत्री शाह ने कहा कि वाजपेयी जब प्रधानमंत्री बने तब देश के अधोसंरचना में निवेश को वोट पाकर चुनाव जीतने का जरिया नहीं माना जाता था। कांग्रेस की इस दकियानूसी विचारधारा को तोड़कर अटल बिहारी वाजपेयी ने चतुर्भुज मार्ग बनाने की दिशा में कदम बढ़ाया। उन्होंने पूरी दुनिया के सामने परमाणु शक्ति का इस्तेमाल शांति के लिए करने का सिद्धांत प्रस्तावित किया। दुनिया के दबाव में न आकर भारत को बनाया परमाणु शक्ति देशइतना ही नहीं, दुनिया भर के दबाव के विरुद्ध जाकर भारत को परमाणु शक्ति बनाने का काम किया था। कारगिल में घुसपैठ के बाद उन्होंने सभी तरह के दबावों को दरकिनार करते हुए अपना रुख स्पष्ट किया था कि शांति का प्रयास करने पर हमारे साथ पाकिस्तान ने धोखा किया। अब तब तक चर्चा नहीं हो सकती, जब तक घुसपैठियों को खदेड़ नहीं दिया जाता। लोक कल्याण के लिए समर्पित नेता थे अटलजीउन्होंने आगे कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री वाजपेयी लोक कल्याण के समर्पित नेता थे और सबसे बड़ी बात थी राजनीति में रहकर भी अजातशत्रु बनकर मृत्यु का वरण करना, जो बहुत मुश्किल होता है। वे पूरे जीवन अजातशत्रु रहेय उनके विरोधी भी उन पर कुछ भी नहीं बोल सकते। इससे पहले केंद्रीय गृहमंत्री शाह ने दो लाख करोड़ के विकास कार्यों का भूमिपूजन और लोकार्पण किया।

उन्नाव रेप केसः कुलदीप सेंगर की जमानत का विरोध :मामला पहुंचा सुप्रीम कोर्ट की दहलीज, सीबीआई भी देगी हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती
नई दिल्ली। उन्नाव रेप केस में दोषी ठहराए गए पूर्व भाजपा विधायक कुलदीप सेंगर को दिल्ली हाईकोर्ट ने जमानत मिल गई है। हाईकोर्ट ने इस मामले में सेंगर को सुनाई गई सजा भी सस्पेंड कर दी है। सेंगर की जमानत के बाद से देश में फिर से विरोध शुरू हो गया है। यही नहीं यह मामला सुप्रीम कोर्ट भी पहुंच गया है। अंजले पटेल और पूजा शिल्पकार ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती दी है।वकील अंजले पटेल और पूजा शिल्पकार ने सुप्रीम कोर्ट से मांग की है कि कुलदीप सेंगर को दी गई जमानत को रद्द किया जाए। हालांकि, अंजले पटेल और पूजा शिल्पकार इस मामले में कोई पक्षकार नहीं हैं। इन दोनों में से कोई न तो निचली अदालत, ना ही हाईकोर्ट में ही कभी पक्षकार रहे हैं। वहीं, इस मामले में जुड़े असली पक्षकार सीबीआई और पीड़िता का परिवार पहले ही हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने की बात कर चुके हैं। सीबीआई ने हाईकोर्ट के फैसले का किया अध्ययनसीबीआई ने हाईकोर्ट के फैसले का गहन अध्ययन कर लिया है और अब सुप्रीम कोर्ट में इसे चुनौती देने की तैयारी कर रही है। वहीं, पीड़िता का परिवार भी सेंगर की जमानत को लेकर चिंतित है। उनका कहना है कि सेंगर के बाहर आने से उनकी सुरक्षा को गंभीर खतरा हो सकता है।देशभर को झकझोर दिया था उन्नाव रेप केस ने गौरतलब है कि उन्नाव दुष्कर्म मामला साल 2017 में सामने आया था और पूरे देश को झकझोर कर रख दिया था। यह मामला एक नाबालिग लड़की के साथ हुए दुष्कर्म से जुड़ा था। लंबी कानूनी लड़ाई के बाद साल 2019 में कुलदीप सेंगर को दोषी ठहराया गया और उसे उम्रकैद की सजा सुनाई गई थी। वहीं, अब दिल्ली हाईकोर्ट ने मामले में कुलदीप सेंगर को जमानत दे दी है। इस फैसले के बाद कई संगठनों और आम जनता ने इसे गंभीर चिंता का विषय बताया है।हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ खटखटाया सुप्रीम कोर्ट का दरवाजावहीं, अब दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ वकील अंजले पटेल और पूजा शिल्पकार ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। हालांकि, सीबीआई या पीड़िता के परिवार की तरफ से सुप्रीम कोर्ट में पीआईएल दाखिल करने को लेकर अभी तक कोई जानकारी सामने नहीं आई है।

अटल बिहारी वाजपेयी :भारत उदय के दृष्टा और सुशासन के प्रवर्तक थे अटलजीः डॉ. मोहन यादव
मां भारती के लिए सर्वस्व अर्पण करने वाले पूर्व प्रधानमंत्री, भारत रत्न, राष्ट्रपुरुष श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी की 101वीं जयंती पर उन्हें शत-शत नमन। अटलजी नवचेतन और नवसृजन के स्वप्नदृष्टा, भारतीय राजनीति के ऐसे महापुरुष थे जिनका जीवन और चिंतन देश की आत्मा से जुड़ा था। वे सबके प्रिय थे, सबके अपने थे और जन-जन के हृदय में बसने वाले अजातशत्रु राजनेता थे।श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी का जीवन राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के एक साधारण कार्यकर्ता से आरंभ होकर राष्ट्रधर्म के संपादक, भारतीय जनसंघ के मजबूत आधार और भारतीय जनता पार्टी के सर्वोच्च नेतृत्व तक पहुंचाने वाली एक अनुपम और प्रेरक यात्रा रही है। वे राजनीति को व्यक्ति निर्माण, समाज निर्माण और राष्ट्र निर्माण का माध्यम मानते थे। उनके नेतृत्व और मार्गदर्शन से समर्पित कार्यकर्ताओं की अनेक पीढ़ियां तैयार हुईं, जिनके लिए सेवा, त्याग और राष्ट्रहित जीवन का लक्ष्य बन गए।अटल जी का व्यक्तित्व बहुआयामी था। वे श्रेष्ठ कवि, सफल पत्रकार, दूरदृष्टा विचारक तथा चिंतक थे, जिन्होंने भविष्य के भारत का स्वप्न देखा और उसे साकार करने का मार्ग प्रशस्त किया। मुझे बताते हुए खुशी है कि माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के मार्गदर्शन में श्रद्धेय अटलजी के स्वप्न को आकार दिया जा रहा है। देश की बहुआयामी प्रगति, समृद्धि और विकास के परिणाम धरातल पर दिखाई दे रहे हैं।इसमें एक और गौरवशाली तथ्य की ओर संकेत करना चाहूंगा कि विश्व की चैथी अर्थव्यवस्था बनने की दिशा में भारत अग्रसर है। यह ऐसी उपलब्धि है कि वैश्विक समस्याओं के समाधान के लिए कई देशों की दृष्टि भारत की ओर रहती है।हमारे लिए गर्व की बात है कि यशस्वी प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में मध्यप्रदेश विकास की नई ऊंचाइयों को छू रहा है। 25 दिसंबर को श्रद्धेय अटलजी की जन्म जयंती के अवसर पर ग्वालियर में भव्य मध्यप्रदेश ग्रोथ समिट का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें निवेश और नवाचार की नई दिशाएं तय होंगी।प्रधानमंत्री के रूप में अटल जी ने देश को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाए। सड़क, संचार, आधारभूत संरचना, शिक्षा, विज्ञान और तकनीककृहर क्षेत्र में उन्होंने मजबूत नींव रखी। जहां प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना से गांवों को विकास की मुख्यधारा से जोड़ा, वहीं सर्वशिक्षा अभियान से शिक्षा को हर वर्ग, हर समुदाय और हर क्षेत्र तक पहुंचाया। पोखरण में भारत की सामरिक शक्ति को सुदृढ़ करने से लेकर स्वर्णिम चतुर्भुज परियोजना के माध्यम से देश को जोड़ने का संकल्प, निर्णय और संकल्प शक्ति का परिचय दिया।श्रद्धेय अटल जी की दूरदृष्टि का एक महत्वपूर्ण उदाहरण ‘नदी जोड़ो’ अभियान की परिकल्पना है। उन्होंने जल समस्या का स्थायी समाधान विकसित करने हेतु जलस्रोतों के समन्वित प्रबंधन पर बल दिया। उनका सपना था कि देश की नदियां आपस में जुड़ें, जल की एक-एक बूंद का उपयोग हो और धरती सुलभ-सुफलाम बने।मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य है, जहां नदियों को जोड़ने के महाअभियान के तहत दो परियोजनाएं प्रारंभ हो चुकी हैं। पार्वती-कालीसिंध-चंबल और केन-बेतवा लिंक परियोजनाओं के माध्यम से हमारी नदियां जुड़ने जा रही हैं। इन परियोजनाओं से जल संकट वाले क्षेत्रों में नई आशा जगेगी और कृषि आधारित अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।अटलजी विकास को अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाना चाहते थे। इसी दिशा में मध्यप्रदेश सरकार ने विकास के नए प्रतिमान स्थापित किए हैं। जनकल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से उद्योगों को छोटे शहरों और अंचलों तक पहुंचाया गया है। इससे पलायन रुका है और स्थानीय युवाओं को रोजगार मिल रहा है। अटलजी के शासनकाल में शुरू हुई दिल्ली मेट्रो आज विश्वस्तरीय अधोसंरचना के रूप में स्थापित हो चुकी है। यह सब बताता है कि अब हम भोपाल में भी मेट्रो का संचालन करने जा रहे हैं।सुशासन के प्रवर्तक अटलजी के लिए सुशासन का अर्थ सरल, पारदर्शी और संवेदनशील व्यवस्था से था। उन्होंने स्थिरता और सुशासन का स्वर्णिम उदाहरण प्रस्तुत किया। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में सुशासन की वही परंपरा आगे बढ़ रही है। सेवा, संकल्प और समर्पण की नीति, जनसरोकारों तक योजनाओं को पहुंचाना और डिजिटल माध्यमों से सेवाओं की सरलताकृयह सब उसी विचार का विस्तार है।अटल जी की 101वीं जयंती पर हम यह संकल्प लें कि उनके विचारों को अपने आचरण और नीतियों में उतारें। व्यक्ति निर्माण से लेकर राष्ट्र निर्माण तक उनकी कल्पना आज भी प्रासंगिक है। सच्चा नेतृत्व वही है, जो आने वाली पीढ़ियों के लिए मार्ग प्रशस्त करे। मध्यप्रदेश, प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व और अटल जी की प्रेरणा के साथ, समृद्धि, विकास और खुशहाली का नया अध्याय रचने के लिए प्रतिबद्ध है।श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी का जीवन हम सभी के लिए प्रेरणास्रोत है। उनका चिंतन, विचार और सपना नए विकसित भारत निर्माण के लिए सदैव प्रेरक रहेगा। मैं प्रदेश की साढ़े आठ करोड़ जनता से आह्वान करता हूं कि आइए, हम सब मिलकर श्रद्धेय अटलजी के स्वप्न अनुरूप सशक्त, समृद्ध और आत्मनिर्भर भारत के निर्माण में सहभागी बनें।

दिल्ली में सांसों का आपातकाल: एक्यूआई को लेकर केन्द्रीय मंत्री हुए चिंतित, कही यह बात
नई दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण खतरनाक श्रेणी में पहुंच गया है। हालात ऐसे हो गए हैं लोगों को सांस के लाल पड़ गए हैं। दिल्ली के प्रदूषण को लेकर अब केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने भी चिंता जाहिर की है और कहा है कि दिल्ली बेहद प्रदूषित है। इस दौरान उन्होंने यह भी कहा कि मैं दो दिन दिल्ली में रहा और बीमार पड़ गया। माइ आइडिया ऑफ नेशन फर्स्ट- रीडिफाइन अनएलॉयड नेशनलिज्म नामक किताब का विमोचन करते हुए केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, मैं परिवहन मंत्री हूं, 40 प्रतिशत प्रदूषण तो हमारे ही कारण होता है। इसकी वजह है कि जीवाश्म ईंधन, पेट्रोल-डीजल है। सुदर्शन जी कितनी बार कहते थे कि इस देश का किसान अन्न दाता नहीं ऊर्जा दाता बनेगा। हवाई ईंधन दाता बनेगा। अब सब बन गया है, पर कोई विश्वास रखने के लिए तैयार नहीं है। नितिन गडकरी ने बताया, आज भी हम कच्चे तेल के आयात पर 22 लाख करोड़ रुपये खर्च कर रहे हैं। देश में प्रदूषण हो रहा है, ये कैसा राष्ट्रवाद है? आज अगर कोई असल राष्ट्रवाद है तो वो आयात घटाने और निर्यात बढ़ाने में है। क्या हम वैकल्पिक ईंधन और बायो ईंधन में आत्मनिर्भर भारत नहीं बना सकते। गडकरी ने कहा, मैं 100 फीसदी इथेनॉल पर चलने वाली गाड़ी से यहां आया हूं। 60 प्रतिशत बिजली तैयार करती है और 25 रुपये प्रतिकिलोमीटर का औसत देती है। प्रदूषण शून्य है। हम हाइड्रोजन बना रहे हैं, इलेक्ट्रिक गाड़ियां बना रहे हैं।हाइड्रोजन ऊर्जा निर्यातक बनने की राह पर देशहाल ही में नई दिल्ली में आयोजित एक कार्यक्रम में सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा, देश अगले दशक के भीतर हाइड्रोजन ऊर्जा का निर्यातक बनने की राह पर है। हाइड्रोजन, पोत परिवहन, विमानन, उद्योग और स्मार्ट परिवहन में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है। उन्होंने कहा, सरकार लॉजिस्टिक लागत को कम करने के लिए कड़े कदम उठा रही है। उन्होंने कहा कि सरकार देश भर में 28 पहुंच-नियंत्रित एक्सप्रेसवे बनाने की प्रक्रिया में है। केन्द्रीय मंत्री ने यह भी बताया कि सरकार दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में सड़क विकास परियोजनाओं में एक लाख 50 हजार करोड़ रुपये का निवेश कर रही है।

बीएमसी का रण, 20 साल बाद ठाकरे परिवार का मिलन:उद्धव-राज ने किया गठबंधन का ऐलान, शिवसेना नेता ने दिल्ली सरकार को लिया निशाने पर
मुंबई। महाराष्ट्र के निकाय चुनाव में मिली करारी हार के बाद विपक्षी पार्टियां बीएमसी चुनाव को लेकर एक्शन मोड में आ गई हैं। यही नहीं बीएमसी समेत महाराष्ट्र के कुल 29 नगर निगम चुनावों में महायुति को मात देने के लिए उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली शिवसेना (यूबीटी) और राज ठाकरे की पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) ने हाथ मिला लिया है। ठाकरे बंधुओं के इस फैसले ने सबको चैंका दिया है। गठबंधन के एलान से पहले उद्धव ठाकरे और एमएनएस प्रमुख राज ठाकरे ने अपने परिवारों के साथ शिवाजी पार्क में बालासाहेब ठाकरे के स्मारक पर श्रद्धांजलि अर्पित की। इसके बाद उद्धव-राज ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर दोनों दलों के बीच गठबंधन का औपचारिक ऐलान किया। प्रेस वार्ता में उद्धव ठाकरे में कहा कि दिल्ली में बैठे लोग मुंबई को तोड़ने की कोशिश कर रहे। हम एक साथ रहने के लिए साथ आए हैं। किसी भी झगड़े से बड़ा हमारे लिए मुंबई और महाराष्ट्र है। हम अगर बंटेंगे तो बिखरेंगे। उन्होंने आगे कहा ठाकरे परिवार ने मुंबई के लिए संघर्ष किया है। मराठी अगर झुक जाएंगे तो खत्म हो जाएंगे।मराठी जनता के लिए खुशी का क्षणउन्होंने बताया कि सीटों पर जल्द फैसला होगा। उद्धव ने इसके साथ ये भी एलान किया कि गठबंधन मुंबई से बाहर भी होगा। वहीं एमएनएस प्रमुख राज ठाकरे ने एलान किया कि मुंबई का मेयर मराठी ही होगा और हमारा होगा। गठबंधन को लेकर संजय राउत ने कहा कि उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे आज चुनावी गठबंधन की घोषणा करने के लिए एकजुट होंगे। उन्होंने कहा, यह महाराष्ट्र और मराठी जनता के लिए खुशी का क्षण है। बालासाहेब ठाकरे ने यहीं के मूल निवासियों के लिए शिवसेना की स्थापना की थी।भाजपा को सबक सिखाने के लिए हुए एकजुट, बोले संजय राउतशिवसेना (यूबीटी) के नेता ने कहा, 20 वर्षों तक ठाकरे बंधुओं का साथ नहीं रहा और महाराष्ट्र को इसका बहुत नुकसान उठाना पड़ा। अब भाजपा को सबक सिखाने और मुंबई में चल रही लूट को रोकने के लिए उद्धव और राज ठाकरे एकजुट हुए हैं। हम मुंबई की 10 नगर निगमों में एक साथ चुनाव लड़ेंगे।इस पल का लंबे समय से था इंतजार, बोले एमएनएस नेतागठबंधन के एलान पर एमएनएस नेता यशवंत किल्लेदार ने कहा कि दो भाई एक साथ आ रहे हैं और हम इस पल का लंबे समय से इंतजार कर रहे थे। उन्होंने कहा कि आज जो हो रहा है वह हमारे लिए खुशी की बात है। किल्लेदार ने कहा, दोनों भाई बालासाहेब ठाकरे के स्मृति स्थल पर आएंगे और उसके बाद एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे। वे वहीं गठबंधन की घोषणा करेंगे। दोनों पार्टियों के कार्यकर्ता बहुत उत्साहित हैं।कांग्रेस ने गठबंधन के एलान पर खड़े किए सवालबीएमसी चुनाव के लिए शिवसेना (यूबीटी) और एमएनएस के गठबंधन पर कांग्रेस नेता अतुल लोंढे ने कहा कि आज खबर आई है कि अजित पवार और शरद पवार गठबंधन करने जा रहे हैं। उन्होंने सवाल खड़े करते हुए कहा कि क्या इसका मतलब यह है कि महायुति में फूट पड़ गई है?

एसआईआर:मप्र के 42.74 लाख वोटर्स के कटे नाम, आज से शुरू होगा नोटिस देने का सिलसिला
भोपाल। चुनाव आयोग ने मध्य प्रदेश में निर्वाचक नामावलियों का विशेष गहन पुनरीक्षण एसआईआर कार्य पूर्ण कर ली है। उक्त प्रक्रिया में मतदाता सूची से लगभग 42 लाख 74 हजार 160 वोटर्स के नाम कट चुके हैं। आज बुधवार से ऐसे मतदाताओं को नोटिस दिए जाएंगे। इसके साथ ही दावा आपत्ति और जांच की प्रक्रिया चलेगी। जो मतदाता दस्तावेज नहीं दे पाएंगे, उनके नाम अंतिम वोटर लिस्ट से हटा दिए जाएंगे। यह जानकारी मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी संजीव झा ने पत्रकारवार्ता में दी। बता दें कि मंगलवार को मतदाता सूची का प्रारंभिक प्रकाशन हो चुका, वही 21 फरवरी को फाइनल वोटर लिस्ट जारी होगी। पहले तीन पर इंदौर में 1,33,696, भोपाल 1,16,925 और जबलपुर 69,394 अनुपस्थित रहे। 5.31 करोड़ वोटरों का ही हो सका सर्वेझा ने बताया कि कुल 5 करोड़ 74 लाख 06 हजार 143 वोटर से 5 करोड़ 31 लाख 31 हजार 983 ही एसआईआर हो सका। इनमें से 31 लाख 51 हजार यानी 5.49 प्रतिशत शिफ्टेड और अनुपस्थित मतदाता है। 8 लाख 46 हजार यानी 1.47 प्रतिशत वोटरों की मौत हो चुकी है। 2 लाख 77 हजार यानी 0.48 प्रतिशत मतदाता ऐसे हैं, जिनके नाम एक से ज्यादा जगह पर दर्ज है। 21 फरवरी को प्रकाशित होगी अंतिम मतदाता सूची झा ने बताया कि 24 दिसबंर से 22 जनवरी तक दावा आपत्ति मंगाई गई है। बुधवार से हम कटे मतदाताओं को नोटिस तामील करेंगे। इसके साथ ही जांच की प्रक्रिया चलेगी। 21 फरवरी को अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित होगी। प्रदेश में दिवंगत मतदाताओं की संख्या 8 लाख 46 लाख यानि 1.47, शिफ्ट और अनुपस्थित मतदाताओं की संख्या 31 लाख 51 हजार यानी 5.49 प्रतिशत है।

कार्ति चिदंबरम की बढ़ी मुश्किलें:चाइनीज वीजा घोटाले में कोर्ट ने तय किए आरोप, 16 जनवरी को होगी सुनवाई
नई दिल्ली। कांग्रेस सांसद कार्ति चिदंबरम की मुश्किलें बढ़ गई हैं। दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने मंगलवार को चाइनीज वीजा स्कैम से जुड़े सीबीआई मामले में उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप तय कर दिए हैं। अदालत ने इसी मामले में कार्ति चिदंबरम के चार्टर्ड अकाउंटेंट एस भास्कर रमन के खिलाफ भी आरोप तय किए हैं। अब इस मामले में अगली सुनवाई 16 जनवरी 2026 को होगी। यह मामला साल 2011 का है। उस समय देश के गृह मंत्री पी. चिदंबरम थे। सीबीआई का आरोप है कि पंजाब में एक बड़े पावर प्रोजेक्ट के लिए तय नियमों से ज्यादा चीनी नागरिकों को वीजा दिलवाया गया। ये प्रोजेक्ट वेदांता समूह की कंपनी तलवंडी साबो पावर लिमिटेड (टीएसपीएल) का था, जहां बिजली संयंत्र का निर्माण चल रहा था।बीजा नियमों को किया गया था नजरअंदाजसीबीआई के मुताबिक, इस दौरान कुल 263 चीनी श्रमिकों के वीजा नियमों को नजरअंदाज करते हुए जारी कराए गए। इसके लिए कार्ति चिदंबरम और उनके सहयोगी एस. भास्कर रमन की मदद ली गई। जांच एजेंसी का कहना है कि टीएसपीएल कंपनी ने इस काम के बदले करीब 50 लाख रुपये की रिश्वत दी थी। यह पैसा कथित तौर पर कार्ति चिदंबरम और उनके करीबी एस. भास्कर रमन को दिया गया, ताकि तय सीमा से ज्यादा चीनी कर्मचारियों के वीजा दिए जा सकें।नियमों के खिलाफ हुआ लेन-देनसीबीआई का दावा है कि यह पूरा लेन-देन नियमों के खिलाफ था और इसमें सरकारी पद का गलत इस्तेमाल किया गया। इसी आधार पर भ्रष्टाचार से जुड़े कानूनों के तहत केस दर्ज किया गया और अब कोर्ट ने इस मामले में आरोप तय कर दिए हैं। राउज एवेन्यू कोर्ट ने सीबीआई द्वारा पेश किए गए दस्तावेजों और साक्ष्यों के आधार पर प्रथम दृष्टया मामला बनता पाया और दोनों आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार से जुड़े आरोप तय कर दिए। अदालत के इस फैसले से यह स्पष्ट हो गया है कि मामले में नियमित सुनवाई आगे बढ़ेगी और आरोपों की न्यायिक जांच की जाएगी।

नितिन नबीनः BJP राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष पहुंचे अपनी कर्मभूमि:सीनियर नेताओं ने किया भव्य स्वागत, रोड शो में बुलडोजर से फूलों की बारिश
पटना। भाजपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष बनने के बाद पटना के बांकीपुर के विधायक नितिन नबीन मंगलवार को पहली बार अपनी कर्मस्थली पटना पहुंचे। जहां स्टेट हैंगर में भाजपा के वरिष्ठ नेताओं ने उनका भव स्वागत किया। केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह, सांसद संजय जायसवाल, मंत्री दिलीप जायसवाल, प्रदेश अध्यक्ष संजय सरावगी समेत कई बड़े नेताओं ने नितिन नवीन का स्वागत किया। इसके बाद उनका रोड शो शुरू हुआ। नितिन नबीन एक खुले वाहन पर सवार हुए और उनका रोड शो शुरू हुआ। जिस वाहन पर वे सवार थे, उस पर उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा, सम्राट चौधरी और प्रदेश अध्यक्ष संजय सरावगी भी मौजूद रहे। उन्होंने राजवंशी नगर स्थित पंचमुखी हनुमान मंदिर में भगवान हनुमान की पूजा की। इस दौरान भाजपा नेता जय श्री राम के नारे लगाते दिखे। हाथी-घोड़ा और बुलडोजर लेकर नबीन के स्वागत में खड़े रहे भाजपा नेताइधर, बेली रोड पर भाजपा नेता हाथी-घोड़ा और बुलडोजर लेकर नितिन नबीन के स्वागत में खड़े रहे। यही नहीं बुलडोजर से भाजपा नेताओं ने अपने कार्यकारी अध्यक्ष पर फूलों पर बारिश भी की। एयरपोर्ट से लेकर मिलर हाई स्कूल ग्राउंड तक बैनर और पोस्टर दिख रहे हैं। हालांकि, इस कार्यक्रम के कारण पटना के बेली रोड, एयरपोर्ट समेत कई इलाकों में जाम की समस्या भी उत्पन्न हो चुकी है। नितिन नबीन के समर्थन में जमकर लगे नारेरोड शो में भारत माता की जय और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और नितिन नबीन के समर्थन में जमकर नारे लगे। प्रदेश अध्यक्ष संजय सरावगी ने मीडिया से कहा, ष्आज का यह दिन भारतीय जनता पार्टी के लिए भी बड़ा है और देश व बिहार के नौजवानों के लिए भी प्रेरणादायक है। आज बिहार के लिए बड़ा दिन है। बिहार में कार्यकारी अध्यक्ष के आगमन को लेकर जबरदस्त उत्साह है और पार्टी इसे ऐतिहासिक रूप देने के लिए पूरी ताकत से जुटी हुई है। छोटा सा कार्यकर्ता भी बड़े-बड़े पद पर जा सकता हैभाजपा नेता ऋतुराज सिन्हा ने कहा कि यह युग परिवर्तन है। संजय सिंह टाइगर ने कहा कि यह अन्य पार्टियों की तरह नहीं बल्कि अलग तरह की पार्टी है। छोटा सा कार्यकर्ता भी बड़े-बड़े पद पर जा सकता है। नितिन नवीन के नेतृत्व में पार्टी बेहतर आयाम तक पहुँचेगी। मैं उनके कुशल प्रबंधन को जानता हूं। हमारा लक्ष्य है बिहार में भाजपा को 50 फीसदी से अधिक वोट लाना और अधिक ताकतवर बनाना।

भारत के खिलाफ बोलने राहुल ने ली सुपारी:बर्लिन में दिए बयान पर भाजपा नेता का हमला, चुघ ने चीन के तारीफ पर भी घेरा
दिल्ली। जर्मनी के बर्लिन में राहुल गांधी ने पिछले दिन एक कार्यक्रम के दौरान भारतीय लोकतंत्र और देश की संवैधानिक संस्थाओं को लेकर बयान दिया था। उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा उस संविधान को खत्म करने की बात कर रही है, जो सभी को समान अधिकार देता है। उन्होंने यह भी कहा कि विपक्ष एक ऐसा प्रतिरोध तंत्र तैयार करेगा, जो आखिरकार भाजपा को सत्ता से हटाने में कामयाब होगा। राहुल के इस बयान पर भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुघ ने कड़ा प्रहार किया है।तरुण चुघ ने कहा कि भारत की संस्थाओं को बदनाम करना और भारतीय संस्कृति व सनातन के खिलाफ बोलना राहुल गांधी की आदत बन चुकी है।उन्होंने कहा, ऐसा लगता है कि राहुल गांधी ने विदेशी आकाओं से भारत, भारतीय संस्कृति और सम्मान के खिलाफ बोलने की सुपारी ले रखी है। उन्होंने आरोप लगाए कि देश के लोकतंत्र को बदनाम करने और विदेशी आकाओं की तालियां बंटोरने के लिए राहुल गांधी लगातार भारत-विरोधी कैंपेन चला रहे हैं। चीन के साथ आपके क्या रिश्ते, जानना चाहते हैं सबचीन का जिक्र करते हुए तरुण चुघ ने कहा, आप (राहुल गांधी) चीन की तारीफ करते हैं, लेकिन चीन के साथ आपके क्या रिश्ते हैं, ये सब जानते हैं। देश जानता है कि किन एनजीओ को चीन से फंड मिल रहा है। राहुल गांधी, अपनी पार्टी का रिकॉर्ड देखिए, अपनी सरकार का रिकॉर्ड देखिए। डेवलपमेंट और मैन्युफैक्चरिंग से कोसों दूर यूपीए के समय में पॉलिसी कमजोर थीं, गवर्नेंस ठीक नहीं था और निराशा का माहौल था।पीएम ने शुरू की तरक्की नई रफ्तार भाजपा नेता ने कहा, पिछले 11 साल में प्रधानमंत्री मोदी ने मेक इन इंडिया, पीएलआई और आत्मनिर्भर भारत जैसी पहलों से इस गिरावट को पलटकर तरक्की की नई रफ्तार शुरू की है। विकास और राष्ट्रीय स्थिरता की राजनीति आगे बढ़ रही है। कांग्रेस की ओर से फैलाया जा रहा भ्रम और डर का विजन बिल्कुल काम नहीं आएगा।हजारों करोड़ रुपए हड़पने वाले आज थूक रहे चांद पर तरुण चुघ ने आगे कहा, जिनका कार्यकाल देश का खजाना लूटने के लिए काले अक्षरों में दर्ज है। उनकी सरकार के दौरान खुद कैग ने उन पर लूट का आरोप लगाया। 2जी स्कैम, कॉमनवेल्थ स्कैम, कोयला स्कैम और नेशनल हेराल्ड स्कैम के जरिए हजारों करोड़ रुपए हड़पने वाले आज चांद पर थूक रहे हैं। उनका बयान दुर्भाग्यपूर्ण है।

नेता प्रतिपक्ष की बुद्धि देशविरोधी:यूपी के डिप्टी सीएम ने राहुल पर किया वार, अखिलेश को भी रखा निशाने पर
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने मंगलवार को लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी पर हमला बोला। उपमुख्यमंत्री ने जर्मनी में राहुल गांधी की तरफ से दिए गए बयान की निंदा की और कहा कि नेता प्रतिपक्ष की बुद्धि देशविरोधी नेताओं की जैसी हो चुकी है। राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि सत्ता वियोग में विचलित होने के कारण वे भारत की संवैधानिक संस्थाओं को विदेशी धरती से निशाना बनाते हैं। इस जन्म में उन्हें प्रधानमंत्री की कुर्सी नसीब नहीं होगी, ऐसा मानकर उन्होंने हताशा और निराशा में जर्मनी की धरती पर जो बयान दिया, उसकी हम कड़े शब्दों में निंदा करते हैं।मौर्य ने कांग्रेस को दी चुनौतीउपमुख्यमंत्री ने कांग्रेस को चुनौती देते हुए कहा कि अगर विरोधी दलों में दम है तो वह बूथ, पंचायत-निकाय या राज्य विधानसभा चुनाव में आकर लड़े। उन्होंने कहा, मेहनत भाजपा का कार्यकर्ता करेगा और चुनाव कांग्रेस, सपा या तृणमूल कांग्रेस जीते, ऐसा नहीं हो सकता है। भाजपा का कार्यकर्ता मेहनत करेगा तो कमल का ही फूल खिलेगा।संतुलन खो चुके अखिलेशसमाजवादी पार्टी पर हमला बोलते हुए केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि बिहार चुनाव में हार के बाद सपा प्रमुख अखिलेश यादव संतुलन खो चुके हैं। वह 2027 में उत्तर प्रदेश में सरकार बनाने के मुंगेरी लाल के हसीन सपने देखते हैं, लेकिन इस चुनाव में सिर्फ एक कार में बैठने लायक विधायक चुने जाने की संभावना है, क्योंकि वह जनता से बहुत दूर हो चुके हैं और माफियाओं के नजदीक हो चुके हैं।विरोधी दल खो चुके हैं आपाचैधरी चरण सिंह की जयंती के अवसर पर किसानों के मुद्दे को लेकर सपा विधायकों के प्रदर्शन पर उपमुख्यमंत्री ने कहा, समाजवादी पार्टी और कांग्रेस समेत सभी भाजपा विरोधी दल अपना आपा खो चुके हैं। उन दलों को क्या करना चाहिए, यह भी उन्हें समझ नहीं आ रहा है। इसलिए वे प्रदर्शन करते रहे हैं, लेकिन जनता इसका जवाब चुनाव में कमल खिलाकर देती है।

अरावली पर्वतमाला:अवैध खनन के लिए भाजपा ने कांग्रेस को ठहराया जिम्मेदार, केन्द्रीय मंत्री ने किया यह भी दावा
नई दिल्ली। अरावली पर्वतमाला को लेकर चल रही बहस और चर्चाओं के बीच केंद्र सरकार ने एक बार फिर अपना रुख स्पष्ट किया है। केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने कहा कि कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में अरावली क्षेत्र में बड़े पैमाने पर अवैध खनन हो रहा था। इसी वजह से कई सामाजिक संगठनों और नागरिकों को अदालत का दरवाजा खटखटाना पड़ा था। मौजूदा याचिका भी उसी दौर की देन है। सरकार का कहना है कि अब सुप्रीम कोर्ट के स्पष्ट आदेश के बाद हालात पूरी तरह बदल गए हैं और खनन को केवल सतत, वैज्ञानिक और पर्यावरण के अनुकूल तरीके से ही आगे बढ़ाया जाएगा, ताकि अरावली को बचाया जा सके। अरावली को लेकर कुछ राजनीतिक दलों द्वारा की जा रही तुलना पर भी सरकार ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। नर्मदा परियोजना को लेकर गुजरात में कभी जिस तरह के आरोप लगाए गए थे, वैसी ही स्थिति बताने को केंद्रीय मंत्री ने सिरे से खारिज कर दिया है।यह कांग्रेस के राजनीतिक माहौल में फैलाया गया एक झूठकेंद्रीय मंत्री का कहना है कि यह कांग्रेस के राजनीतिक माहौल में फैलाया गया एक और झूठ है, जिसे अब जनता समझ चुकी है। कुडनकुलम परमाणु संयंत्र के समय विदेशी एजेंसियों और एनजीओ की भूमिका को लेकर उठे सवालों की तरह अरावली के मामले में भी भ्रम फैलाने की कोशिशों का आरोप लगाया गया है। केंद्रीय मंत्री का दावा है कि अरावली को लेकर कुछ राजनीतिक विरोधी जानबूझकर गलतफहमी पैदा कर रहे हैं, लेकिन यह प्रयास पूरी तरह नाकाम हो चुका है। सरकार पारदर्शिता और वैज्ञानिक सोच के साथ अरावली संरक्षण के लिए काम कर रही है।कोर्ट ने अरावली में किसी तरह की नहीं दी छूटसुप्रीम कोर्ट के आदेशों पर भी स्थिति पूरी तरह साफ कर दी गई है। केंद्रीय मंत्री के अनुसार, कोर्ट ने अरावली में किसी तरह की छूट नहीं दी है। बल्कि पर्यावरण मंत्रालय के श्ग्रीन अरावली प्रोजेक्ट को मान्यता दी गई है और आईसीएफआरआई को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है कि जब तक पूरी वैज्ञानिक योजना तैयार नहीं हो जाती, तब तक कोई नया खनन नहीं होगा। इस योजना के तहत अरावली पहाड़ियों और पूरे क्षेत्र की पहचान, उनकी इको-सेंसिटिविटी तय की जाएगी और उसके बाद ही आगे का फैसला लिया जाएगा। भूपेंद्र यादव का कहना है कि इन कदमों का मकसद अवैध खनन पर पूरी तरह रोक लगाना और भविष्य में केवल सतत खनन को ही अनुमति देना है।

बीएमसी चुनाव: शिवसेना (UBT)-मनसे के बीच सीटों को लेकर कशमकश, गठबंधन पर भी छाए संकट के बादल, शुरू हुआ कयासों का दौर
नई दिल्ली। महाराष्ट्र में 288 नगर परिषद और नगर पंचायत के चुनाव में जहां महायुति ने प्रचंड जीत दर्ज की है। वहीं एमवीए को तगड़ा झटका लगा है। यही नहीं नतीजों का असर ठाकरे बंधुओं के बीच होने वाले गठबंधन पर भी दिखाई दे गया है। बीएमसी चुनाव को लेकर उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के बीच होने वाला गठबंधन अचानक टल गया है। जिसके बाद कयास शुरू हो गए हैं कि क्या ठाकरे बंधुओं के बीच सब कुछ ठीक ठाक नहीं चल रहा है। बता दें कि शिवसेना (यूबीटी)-मनसे के गठबंधन का औपचारिक ऐलान आज होना था, लेकिन यह टल गया है।मुंबई के बीएमसी पर ठाकरे परिवार का करीब 30 साल कब्जा है, जिसको बचाने के लिए 20 साल का सियासी दुश्मनी को भुलाकर राज ठाकरे और उद्धव ठाकरे ने हाथ मिलाया है, लेकिन अभी फाइनल मुहर नहीं लगी। दोनों दलों के बीच कुछ सीटों को लेकर मामला फंसा हुआ है। अब बीएमसी सहित 29 नगर निगम का चुनाव ठाकरे ब्रांड का फाइनल इम्तिहान उद्धव के लिए बन गया है। बीएमसी चुनाव के लिए नामांकन आज से शुरूबीएमसी सहित राज्य की 29 नगर निगम चुनाव के लिए मंगलवार से अधिसूचना जारी हो रही है। बीएमसी सहित सभी 29 नगर निगम के कुल 2869 पार्षद सीटों पर 15 जनवरी को मतदान होगा जबकि नतीजे 16 जनवरी को आएंगे. बीएमसी के अलावा, जिन नगर निगम में चुनाव है, उसमें नवी मुंबई, ठाणे, पुणे, नासिक, नागपुर, छत्रपति संभाजीनगर, वसई-विरार, कल्याण-डोंबिवली, कोल्हापुर, उल्हासनगर, पिंपरी-चिंचवड, सोलापुर, अमरावती, अकोला, लातूर, परभणी, चंद्रपुर, भिवंडी-निजामपुर, मालेगांव, पनवेल, मीरा-भायंदर, नांदेड़-वाघाला, सांगली-मिराज, कुपवाड, जलगांव, धुले, अहिल्यानगर, इचलकरंजी और जालना शामिल हैं.20 साल पुरानी दुश्मनी भुलाकर एक साथ आने किया था फैसलामहायुति की रणनीति को देखते हुए ठाकरे ब्रदर्स ने 20 साल पुरानी राजनीतिक रंजिश को भुलाकर एक साथ आने का फैसला किया ताकि बीजेपी और एकनाथ शिंदे की शिवसेना की जोड़ी से दो-दो हाथ कर सकें। उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के बीच बीएमसी सहित राज्य के बाकी नगर निगम चुनाव के लिए सीटों का बंटवारे पर सहमति बन गई थी। ऐसे में मंगलवार को शिवसेना (यूबीटी) और मनसे के गठबंधन का औपचारिक ऐलान होना था, लेकिन कुछ सीट पर कशमकश की स्थिति बनी हुई है। कुछ सीटों पर फंसा मामलाएमएनएस नेता नितिन सरदेसाई और बाला नांदगांवकर सोमवार देर शाम ‘मातोश्री’ पहुंचे, जहां उद्धव ठाकरे से मुलाकात कर गठबंधन को अंतिम रूप दिया गया। बताया जा रहा है कि बीएमसी की कुल 227 सीटों में से शिवसेना (यूबीटी) 150 से अधिक सीटों पर चुनाव लड़ेगी। वहीं, राज ठाकरे की एमएनएस 60 से 70 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारेगी। इसके अलावा बची सीटें एनसीपी (शरदचंद्र पवार गुट) और अन्य छोटे सहयोगी दलों को दिए जाने की संभावना है। इस तरह सीट शेयरिंग का फॉर्मूला बन रहा था, लेकिन कुछ सीट पर मामला फंस गया गया।

मनरेगा पर घमासान:सोनिया ने केन्द्र पर बोला जुबानी हमला, लेख के जरिए दी चेतावनी भी
नई दिल्ली। मनरेगा को लेकर कांग्रेस संसदीय दल (सीपीपी) की चेयरपर्सन सोनिया गांधी ने सोमवार को केंद्र सरकार पर जुबानी हमला किया। केंद्र सरकार पर महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) को जानबूझकर खत्म करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने चेतावनी दी कि अगर इसे बदला गया तो भारत की ग्रामीण आबादी के लिए इसके नतीजे बहुत बुरे होंगे। उनकी यह टिप्पणी संसद द्वारा विपक्ष के कड़े विरोध के बीच विकसित भारत गारंटी फॉर एम्प्लॉयमेंट एंड लाइवलीहुड मिशन (ग्रामीण) बिल पास किए जाने के कुछ दिनों बाद आई है। एक प्रमुख राष्ट्रीय अखबार में छपे एक लेख में सोनिया गांधी ने तर्क दिया कि यूपीए सरकार के तहत 2005 में लागू किया गया मनरेगा, जो काम के संवैधानिक अधिकार की गारंटी देने वाला एक अधिकार-आधारित कानून था, उसे बिना किसी चर्चा, सलाह-मशविरे या संसदीय प्रक्रियाओं का सम्मान किए प्रभावी ढंग से खत्म किया जा रहा है।उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी का नाम हटाना तो बस शुरुआत है। सोनिया गांधी ने इसे दुनिया के सबसे बड़े सोशल सिक्योरिटी प्रोग्राम के गहरे संरचनात्मक विनाश का प्रतीक बताया। सोनिया गांधी के अनुसार, मनरेगा को खत्म करने की कोशिश रातों-रात शुरू नहीं हुई। उन्होंने कहा कि भाजपा ने सालों से इसे धीरे-धीरे खत्म करने का तरीका अपनाया है, बजट में ठहराव, भुगतान में देरी और जिसे उन्होंने अधिकार छीनने वाली टेक्नोलॉजी कहा, उसके जरिए धीरे-धीरे इस योजना को खोखला किया जा रहा है, जिससे यह जमीन पर ज्यादा से ज्यादा अप्रभावी होती जा रही है।कांग्रेस ने अन्य विपक्षी पार्टियों के साथ मिलकर मांग की थी कि बिल को स्टैंडिंग कमेटी के पास भेजा जाए और बाद में इसे वापस लेने पर जोर दिया। इन आपत्तियों और विपक्षी सांसदों के वॉकआउट के बाद भी दोनों सदनों में यह कानून पास हो गया। इसके बाद बिल को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की मंजूरी मिली और रविवार को यह कानून बन गया। सोनिया गांधी ने आरोप लगाया कि नया कानून एक वैधानिक रोजगार गारंटी को एक ऐसे नौकरशाही, मनमाने कार्यक्रम से बदल देता है जिससे ग्रामीण रोजगार सहायता का स्वरूप मौलिक रूप से बदल जाता है।उन्होंने कहा कि डिमांड के हिसाब से मिलने वाली, बिना किसी लिमिट वाली रोजगार योजना की जगह केंद्र सरकार ने तय बजट सीमा लगा दी है। यह बदलाव मनरेगा के मूल वादे पर सीधा हमला है। उन्होंने उन प्रावधानों पर भी जोर दिया जिनके अनुसार साल भर काम खत्म हो जाएगा, खेती के पीक सीजन के दौरान 60 बिना काम वाले दिन होंगे, और राज्यों का फंडिंग में हिस्सा 10 प्रतिशत से बढ़ाकर 40 प्रतिशत कर दिया जाएगा। सोनिया गांधी ने कहा कि खर्च का एक बड़ा हिस्सा राज्यों पर डालकर, मोदी सरकार इसे लागू करने से हतोत्साहित कर रही है और चेतावनी दी कि पहले से ही खराब राज्यों की फाइनेंसियल हालत ष्और भी खराब हो जाएगी।केंद्र पर बहुत ज्यादा केंद्रीकरण का आरोप लगाते हुए कांग्रेस नेता ने कहा कि नया फ्रेमवर्क ग्राम सभाओं और पंचायतों को नजरअंदाज करता है और विकेन्द्रीकृत प्लानिंग की जगह पीएम गतिशक्ति नेशनल मास्टर प्लान से जुड़े टॉप-डाउन मॉडल को लाता है। कांग्रेस नेता ने कहा कि यह बदले की भावना से किया गया केंद्रीकरण है। सरकार के इस दावे को खारिज करते हुए कि नई योजना से 125 दिनों तक रोजगार की गारंटी मिलेगी, उन्होंने इस वादे को गुमराह करने वाला और नामुमकिन बताया।सोनिया गांधी ने ग्रामीण मजदूरी बढ़ाने, मजबूरी में होने वाले पलायन को रोकने और स्थानीय स्व-शासन को मजबूत करने में मनरेगा की भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि कोविड महामारी के दौरान, यह उन कुछ तरीकों में से एक था जिसके जरिए सबसे गरीब परिवारों तक मदद पहुंची। उन्होंने कहा कि काम के अधिकार को खत्म करने को अलग से नहीं देखा जाना चाहिए। उन्होंने इसे अधिकारों पर आधारित कानूनों पर एक बड़े हमले से जोड़ा, जिसमें सूचना, शिक्षा, वन अधिकार और भूमि अधिग्रहण से संबंधित कानून शामिल हैं।उन्होंने आगे कहा कि मनरेगा ने महात्मा गांधी के सर्वोदय, यानी सभी के कल्याण के विजन को साकार किया और काम के संवैधानिक अधिकार को लागू किया। इसका खत्म होना हमारी सामूहिक नैतिक विफलता है, जिसके वित्तीय और मानवीय परिणाम आने वाले सालों में भारत के करोड़ों कामकाजी लोगों को भुगतने पड़ेंगे। अब पहले से कहीं ज्यादा जरूरी है कि हम एकजुट हों और उन अधिकारों की रक्षा करें जो हम सभी की रक्षा करते हैं।

एसआईआर:EC कल तीन राज्यों का ड्राफ्ट वोटर लिस्ट करेगा पब्लिश, इसमें MP भी शामिल, वेबसाइटों पर भी अपलोड होगी सूची
नई दिल्ली । चुनाव आयोग मंगलवार को केरल, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और अंडमान एवं निकोबार द्वीप समूह के ड्राफ्ट मतदाता सूची प्रकाशित करने जा रहा है। इसके साथ ही 2026 में विभिन्न राज्यों व केंद्र शासित प्रदेश में प्रस्तावित चुनावी प्रक्रिया की तैयारियों में एक और अहम कदम पूरा होगा।चुनाव आयोग के अनुसार, चारों राज्यों और केंद्र शासित प्रदेश में तैयार किए गए ड्राफ्ट इलेक्टोरल रोल्स को मुख्य निर्वाचन अधिकारियों (सीईओ) और जिला निर्वाचन अधिकारियों (डीईओ) के माध्यम से सभी मान्यता-प्राप्त राजनीतिक दलों के साथ साझा किया जाएगा, ताकि वे तय समय में आपत्तियां, सुझाव और एतराज दर्ज करा सकें। आयोग ने यह निर्देश दिया है कि राजनीतिक दलों को मतदाता सूची की हार्ड कॉपी उपलब्ध कराई जाए।आधिकारिक वेबसाइटों पर अपलोट किया जाएगा सूची कोइसके साथ ही पारदर्शिता और आम जनता की सुविधा को ध्यान में रखते हुए प्रारूप मतदाता सूची को सीईओ और डीईओ की आधिकारिक वेबसाइटों पर भी अपलोड किया जाएगा। इसके अलावा, मतदाता सूचियों के साथ-साथ अनुपस्थित, स्थानांतरित, मृत और डुप्लीकेट मतदाताओं की सूचियां भी संबंधित सीईओध्डीईओ की वेबसाइट पर अपलोड की जाएंगी।ड्राफ्ट वोटर लिस्ट पब्लिश होने के बाद शुरू होगा नोटिस फेज ड्राफ्ट मतदाता सूची प्रकाशित होने के बाद निर्धारित समय में दावा-आपत्ति प्रक्रिया चलेगी और फिर अंतिम मतदाता सूची इसके बाद जारी की जाएगी। ड्राफ्ट वोटर लिस्ट पब्लिश होने के बाद नोटिस फेज शुरू हो जाएगा, जिसमें चुनावी पंजीकरण अधिकारी (ईआरओ) की ओर से एक साथ गणना प्रपत्र पर नोटिस जारी करना, सुनवाई, प्रमाणित और फैसला लेना और दावों और आपत्तियों का निपटारा करना शामिल है।ऐसे मतदाताओं का एक ही जगह रहेगा नामआयोग ने स्पष्ट किया है कि वास्तविक और योग्य मतदाताओं को दावे-आपत्तियों की अवधि के दौरान जोड़ा जा सकता है। जिन मतदाताओं के नाम एक से अधिक स्थानों पर दर्ज पाए जाएंगे, उनका नाम केवल एक ही स्थान पर रखा जाएगा। यह सुनिश्चित करने के लिए कि कोई भी पात्र मतदाता छूट न जाए, बूथ लेवल अधिकारियों (बीएलओ) ने घर-घर जाकर कई बार संपर्क किया। साथ ही ईआरओ ने राजनीतिक दलों के साथ बैठकें कर असंग्रहणीय फॉर्म की अस्थायी सूची साझा की ताकि बूथ लेवल एजेंट (बीएलए) फील्ड में सत्यापन कर सकें।निर्वाचन आयोग ने स्पष्ट किया कि बिना उचित प्रक्रिया, नोटिस और कारणयुक्त आदेश के किसी भी नाम को नहीं हटाया जाएगा। सभी दावे और आपत्तियों के निपटारे के बाद अंतिम मतदाता सूची 14 फरवरीको प्रकाशित की जाएगी।

भाजपा नेता का कांग्रेस पर निशाना:भारत विभाजन की कड़वी सच्चाई को पीएम ने फिर से किया उजागर, लगाया यह आरोप
नई दिल्ली भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुघ ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत विभाजन की कड़वी सच्चाई को फिर से उजागर किया है, जिसे कांग्रेस दशकों से दबाती रही है। नई दिल्ली में तरुण चुघ ने आरोप लगाया कि आजादी से पहले असम को पूर्वी पाकिस्तान में शामिल करने की साजिश मुस्लिम लीग और कांग्रेस की संयुक्त योजना का हिस्सा थी।उन्होंने कहा कि मुस्लिम लीग ब्रिटिश शक्तियों के साथ खड़ी थी और कांग्रेस भी इसमें शामिल थी। असम की पहचान, संस्कृति, पूर्वोत्तर की सभ्यता तथा राष्ट्रीय अखंडता कभी कांग्रेस की प्राथमिकता नहीं रही। कांग्रेस के लिए केवल सत्ता के समीकरण ही सर्वोपरि रहे।गोपीनाथ बोरदोलोई का दिया उदाहरणउन्होंने प्रमुख स्वतंत्रता सेनानी लोकप्रिय गोपीनाथ बोरदोलोई का उदाहरण देते हुए कहा कि उन्होंने अपनी ही पार्टी के खिलाफ साहस दिखाया और विरोध किया, जिसके कारण असम की बहादुर जनता के समर्थन से असम भारत का अभिन्न अंग बना रहा। चुघ ने दावा किया कि कांग्रेस मुस्लिम लीग तथा ब्रिटिश शक्तियों के साथ मिलकर असम को पूर्वोत्तर से अलग करने पर तुली हुई थी। जी राम जी बिल पर सोनिया पर पलटवारजी राम जी बिल पर सोनिया गांधी के बयान पर पलटवार करते हुए चुघ ने कहा कि वे बेवजह हंगामा कर रही हैं। मोदी सरकार लगातार काम कर रही है। इस बिल से ग्रामीण रोजगार गारंटी में 125 दिनों का रोजगार मिल रहा है। ग्रामीण मजदूरी में सीधे 25 प्रतिशत की वृद्धि हो रही है। बजट को ढाई गुना बढ़ा दिया गया है। पहली बार बुवाई-कटाई के बीच 60 दिनों का अंतर दिया गया है ताकि किसानों और मजदूरों को नुकसान न हो। मजदूरों का भुगतान सीधे बैंक खाते में जाएगा। इसका स्वागत करना चाहिए, क्योंकि इससे मजदूरों और किसानों को सीधा लाभ हो रहा है।दीपम विवाद पर भी चुघ ने डीएमके सरकार पर बोला हमला दीपम विवाद पर भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव तरुण चुघ ने तमिलनाडु की डीएमके सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि एक तरफ सरकार दीप स्तंभ पर पवित्र कार्तिगई दीपक जलाने से रोकती रही, लेकिन दूसरी तरफ दरगाह में झंडा फहराने की अनुमति देती है। यह इंडी गठबंधन का विरोधी चेहरा और हिंदुओं के प्रति दोहरा मापदंड है। हिंदुओं के अधिकारों को दबाना ही उनका असली एजेंडा है।

नेशनल हेराल्ड केस में सोनिया-राहुल को राहत नहीं:दिल्ली हाईकोर्ट ने 5 अन्य आरोपियों को भी भेजा नोटिस, 12 मार्च को होगी सुनवाई
नई दिल्ली। नेशनल हेराल्ड धन शोधन मामले में दिल्ली हाईकोर्ट ने कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी समेत सात आरोपियों को नोटिस जारी किया है। कोर्ट ने यह नोटिस प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की याचिका पर जारी किया है। मामले की अगली सुनवाई 12 मार्च 2026 को होगी। राऊज एवेन्यू कोर्ट के कांग्रेस नेता सोनिया गांधी और राहुल गांधी के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग मामले में संज्ञान लेने से इनकार करने वाले फैसले को चुनौती देने वाली ईडी की याचिका पर दिल्ली हाईकोर्ट ने नोटिस जारी किया है। राऊज एवेन्यू कोर्ट ने ईडी की चार्जशीट पर संज्ञान लेने से इनकार कर दिया था।तुषार मेहता ने यह पेश की दलीलईडी की तरफ से दिल्ली हाईकोर्ट में वरिष्ठ वकील तुषार मेहता ने अपनी दलील में कहा कि अंतिम निष्कर्ष यह है कि 50 लाख रुपए की राशि के बदले आरोपियों को 2,000 करोड़ रुपए की संपत्ति प्राप्त हुई है। जून 2014 में एक व्यक्ति द्वारा प्राइवेट कंप्लेन दायर की गई, जिसपर निचली अदालत ने संज्ञान लिया था और बाद में दिल्ली हाई कोर्ट ने उस पर स्टे लगा दिया था।अदालत ने कही यह बाततुषार मेहता ने कहा कि अगर कोई एक पेज की एफआईआर फाइल करता है, तब वह ईडी के अपराध का मामला हो सकता है, लेकिन सेक्शन 200 सीआरपीसी के तहत कोर्ट द्वारा संज्ञान लेना क्या ईडी शिकायत का आधार नहीं हो सकता? अदालत ने कहा कि अगर कोर्ट ने निजी शिकायत का संज्ञान लिया है, तो ईडी कुछ नहीं कर सकती। वरिष्ठ वकील तुषार मेहता ने कहा कि निचली अदालत ने बड़ी गलती की है। यह सिर्फ इसी केस की बात नहीं है, बल्कि इसका असर कई दूसरे मामलों पर भी पड़ेगा क्योंकि कोर्ट ने कहा है कि अगर किसी कोर्ट ने प्राइवेट शिकायत पर संज्ञान लिया है, तो ईडी कुछ नहीं कर सकती है।

अजमेर दरगाह में पीएम की चादर चढ़ाने काम मामला:SC ने तत्काल सुनवाई से किया इनकार, स्पष्ट शब्दों में कहा यह भी
नई दिल्ली। अजमेर में स्थित सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह पर सालाना उर्स के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और अन्य संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों की ओर से चादर भेजे जाने के खिलाफ दाखिल याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने फिलहाल जल्द सुनवाई से इनकार कर दिया है। कोर्ट ने साफ कहा है कि वह इस मामले में सुनवाई की तारीख बाद में तय करेगा। वेकेशन बेंच की अगली बैठक में इस पर सुनवाई हो सकती है।सुप्रीम कोर्ट में यह जनहित याचिका विश्व वैदिक सनातन संघ के प्रमुख जितेंद्र सिंह बिसेन की ओर से दाखिल की गई है। याचिकाकर्ताओं का कहना है कि जिस स्थान पर दरगाह स्थित है, वहां पहले संकट मोचन महादेव मंदिर था। ऐसे में प्रधानमंत्री या अन्य संवैधानिक पदों पर बैठे लोगों का चादर चढ़ाना उचित नहीं है। इस तरह के धार्मिक आयोजन से जुड़ना संविधान में निहित सरकारी तटस्थता के सिद्धांत के खिलाफ है।याचिकाकर्ता ने की मांगजितेंद्र सिंह ने मांग की है कि अजमेर सूफी संत ख्वाजा मोइनुद्दीन चिश्ती दरगाह पर उर्स के दौरान पीएम और अन्य मंत्रियों द्वारा भेजी जाने वाली चादर की परंपरा पर तत्काल रोक लगाई जाए। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में जल्द सुनवाई से इनकार कर दिया है। अब इस पर वेकेशन बेंच की अगली बैठक में सुनवाई हो सकती है।सिविल कोर्ट में पहले से विचाराधीन है मामलावहीं, इस मुद्दे को लेकर अजमेर सिविल अदालत में पहले से ही मामला विचाराधीन है। हिंदू सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष विष्णु गुप्ता की ओर से यह चुनौती दी गई थी कि प्रधानमंत्री की तरफ से उर्स के दौरान चादर चढ़ाने की परंपरा को जारी रखना सही नहीं है। बीते गुरुवार को अजमेर की अदालत में इस मामले पर सुनवाई हुई थी। सुनवाई के दौरान दोनों पक्षों को सुनने के बाद अदालत ने फिलहाल कोई अंतिम फैसला नहीं सुनाया है। अदालत ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 3 जनवरी की तारीख तय की है।उर्स के दौरान चढ़ाई जाती है चादरगौरतलब है कि हर साल देश के प्रधानमंत्री और कई अन्य नेताओं के जरिए उर्स के दौरान अजमेर की दरगाह में चादर चढ़ाई जाती है। सोमवार को केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने दरगाह पहुंचकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से चादर चढ़ाई।

यूपी विधानसभाः कोडीन सिरप पर गरमाई सदन की तासीर: योगी ने सपा पर किया तीखा वार, बबुआ की विदेश यात्रा पर भी कसा तंज
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में विधानसभा का शीतकालीन सत्र जारी है। सपा विधायकों ने सोमवार को सत्र शुरू होते ही कोडीन युक्त कफ सिरप के मुद्दे पर जमकर हंगामा किया। यही नहीं कोडीन पर चर्चा करने की मांग करते हुए सपा विधायक वेल में पहुंच गए। इस दौरान भी जबरदस्त हंगामा हुआ। विपक्ष के इस रवैए पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भड़क गए और सपा पर तीखा हमला बोला। सदन में बोलते हुए सीएम ने स्पष्ट किया कि कोडीन सिरप के कारण प्रदेश में एक भी मौत दर्ज नहीं हुई है और इस मामले में होने वाली मौतें तमिलनाडु में निर्मित सिरप के कारण अन्य राज्यों में हुई हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि एसटीएफ द्वारा पकड़े गए बड़े होलसेलरों को सपा सरकार के दौरान लाइसेंस दिए गए थे। सपा विधायक अतुल प्रधान द्वारा उठाए गए सवालों और उपमुख्यमंत्री के साथ आरोपी की फोटो दिखाने पर सीएम ने इसे चोर की दाढ़ी में तिनका करार दिया।बबुआ पर कसा तंज और विदेश यात्रा का जिक्रसदन में चर्चा के दौरान सीएम योगी ने दिल्ली और यूपी के नेताओं की तुलना करते हुए कहा कि देश में दो नमूने हैं, जिनमें से एक यहां बैठते हैं। उन्होंने नेता प्रतिपक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा कि उन्हें लगता है कि यहां वाले बबुआ भी जल्द ही इंग्लैंड की सैर सपाटे पर चले जाएंगे। सीएम ने कहा कि जब भी देश में किसी गंभीर मुद्दे पर चर्चा होती है, तो कुछ लोग तुरंत विदेश भाग जाते हैं। सीएम के इस तीखे हमले के बाद सपा ने सदन से वॉक आउट कर दिया।यूपी में केवल स्टॉकिस्ट, निर्माण अन्य राज्यों मेंदवाइयों की गुणवत्ता पर बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि कोडीन सिरप का निर्माण उत्तर प्रदेश में नहीं होता, यहां केवल इसके स्टॉकिस्ट और होलसेलर मौजूद हैं। उन्होंने बताया कि नकली दवाइयों के खिलाफ एफएसडीए लगातार छापेमारी कर रहा है. सीएम ने नेता प्रतिपक्ष से कहा कि इस उम्र में तो उन्हें सच बोलना चाहिए, लेकिन सपा के लोग उनसे अभी भी झूठ बुलवा रहे हैं।नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडे का बयान यूपी विधानसभा में नमूना शब्द पर तीखी बहस हुई। नेता प्रतिपक्ष माता प्रसाद पांडे ने सीएम योगी के बयान पर आपत्ति जताते हुए पूछा कि वह नेताओं के लिए ऐसी भाषा का इस्तेमाल क्यों कर रहे हैं। इस पर विधानसभा अध्यक्ष ने स्पष्ट किया कि सीएम ने किसी का नाम नहीं लिया है। वहीं, सुरेश खन्ना ने बचाव करते हुए कहा कि विपक्ष मामले को गुमराह कर रहा है और सीएम ने बिना नाम लिए अपनी बात रखी है।सपा विधायक ने उठाए थे सवालइससे पहले सपा विधायक अतुल प्रधान ने सदन में कोडीन का मुद्दा प्रमुखता से उठाया था। उन्होंने सरकार से सवाल किया कि इस मामले में बुलडोजर कहां सो गया है। प्रधान ने आरोपी की एक तस्वीर उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक के साथ सदन में दिखाई, जिसके बाद सदन का माहौल काफी गरमा गया। सीएम योगी ने इन आरोपों को निराधार बताते हुए विपक्षी गठबंधन की कार्यशैली पर सवाल खड़े किए।बुलडोजर एक्शन भी होगा, तब विपक्ष शोर न मचाएयूपी विधानसभा में बोलते हुए सीएम योगी ने कहा कि इस केस की गहराई में जाने पर सपा से जुड़े लोग सामने आ रहे हैं। उन्होंने खुलासा किया कि लोहिया वाहिनी के पदाधिकारी के अकाउंट से अवैध ट्रांजैक्शन हुआ है, जिसकी जांच एसटीएफ कर रही है। सीएम ने चेतावनी दी कि दोषियों पर बुलडोजर एक्शन भी होगा, तब विपक्ष शोर न मचाए। उन्होंने बताया कि इस सिरप की अवैध सप्लाई उन क्षेत्रों में की गई जहां नशा निषेध है। सरकार अब तक 79 केस दर्ज कर 78 गिरफ्तारियां कर चुकी है और 134 फर्मों पर छापेमारी हुई है।

महाराष्ट्र निकाय चुनाव में महायुति की प्रचंड जीत:पीएम मोदी बोले- मैं जनता का आभारी, कार्यकर्ताओं की कड़ी मेहनत को भी सराहा
नई दिल्ली। महाराष्ट्र नगर पंचायत व नगर परिषद के चुनाव में महायुति को प्रचंड जीत मिली है। 288 में से 217 सीटों पर महायुति को जीत पर मिलने पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा और सांसद अनिल बलूनी ने खुशी जताई है। साथ ही मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस समेत एनडीए के सभी नेताओं को बधाई व शुभकामनाएं दी हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि महाराष्ट्र विकास के साथ मजबूती से खड़ा है। नगर परिषद और नगर पंचायत चुनावों में भाजपा और महायुति को आशीर्वाद देने के लिए महाराष्ट्र की जनता का आभारी हूं। यह जन-केंद्रित विकास के हमारे दृष्टिकोण में विश्वास को दर्शाता है। हम राज्यभर के प्रत्येक नागरिक की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए नई ऊर्जा के साथ काम करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। मैं भाजपा और महायुति कार्यकर्ताओं की जमीनी स्तर पर की गई कड़ी मेहनत की सराहना करता हूं।नड्डा ने कार्यकर्ताओं को दी बधाईभाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने एक्स पर लिखा कि महाराष्ट्र में नगर पंचायत और नगर परिषद के चुनाव में महायुति की ऐतिहासिक विजय के लिए प्रदेश के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, एनडीए के सदस्यों व प्रदेश अध्यक्ष रवींद्र चव्हाण के नेतृत्व में भाजपा और एनडीए के सभी कार्यकर्ताओं को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं देता हूं। उन्होंने कहा कि महायुति की यह प्रचंड जीत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में डबल इंजन सरकार की जनकल्याणकारी नीतियों को जनता का अटूट समर्थन दर्शाती है।जागरुक जनता का हृदय आभारः भाजपा सांसदभाजपा सांसद अनिल बलूनी ने एक्स पर लिखा कि महाराष्ट्र नगर पंचायत एवं नगर परिषद चुनावों में महायुति को मिले अभूतपूर्व जनसमर्थन के लिए प्रदेश की जागरूक जनता का हृदय से आभार। यह ऐतिहासिक जनादेश यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दूरदर्शी नेतृत्व में एनडीए सरकारों द्वारा समाज के हर वर्ग के उत्थान और समावेशी विकास के लिए किए जा रहे कार्यों पर जनता की गहरी आस्था और विश्वास को दर्शाता है। यह बोले सीएम फडणवीसमहाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने रविवार को 246 नगर परिषदों और 42 नगर पंचायतों में भारतीय जनता पार्टी के प्रदर्शन को ऐतिहासिक जनादेश बताया है। चुनाव का परिणाम आने के बाद मीडिया को संबोधित कर रहे सीएम फडणवीस ने कहा कि महाराष्ट्र के स्थानीय निकाय चुनावों के 20 से 25 वर्षों के इतिहास में यह जीत अभूतपूर्व है।

घुसपैठियों के प्रति पक्षपाती है कांग्रेस:पीएम मोदी का तीखा हमला-कहा- विपक्ष ने असम और नॉर्थ-ईस्ट के विकास का भी किया विरोध
गुवाहाटी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी शनिवार को असम के दौरे पर पहुंचे। यात्रा के दूसरे दिन उन्होंने गुवाहाटी में शहीद स्मारक क्षेत्र में ऐतिहासिक असम आंदोलन के शहीदों को श्रद्धांजलि दी, जो राज्य के लोगों के लिए एक बहुत ही भावुक क्षण था। प्रधानमंत्री ने फूल चढ़ाए और 1979 में शुरू हुए छह साल लंबे विदेशी विरोधी आंदोलन के पहले शहीद खर्गेश्वर तालुकदार की प्रतिमा पर माला पहनाई और असम की पहचान, संस्कृति और अधिकारों की रक्षा के लिए किए गए बलिदानों को याद किया। इसके बाद पीएम ने असम के नामरूप में फर्टिलाइजर यूनिट का उद्घाटन करने के बाद कांग्रेस पार्टी पर निशाना साधा। जनसभा को संबोधित करते हुए, पीएम मोदी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी ने हमेशा असम और नॉर्थ-ईस्ट के विकास का विरोध किया है। उन्होंने कहा, "जब भाजपा सरकार ने संगीतकार भूपेन हजारिका को भारत रत्न दिया, तो कांग्रेस ने असम के इस महान व्यक्ति का अपमान किया। कांग्रेस पार्टी ने असम के नगांव जिले में सेमीकंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग यूनिट लगाने के हमारे फैसले का भी विरोध किया।"कांग्रेस को असम के लोगों से प्यार नहींप्रधानमंत्री ने दावा किया कि कांग्रेस को असम के लोगों से कोई प्यार और सम्मान नहीं है, बल्कि वे घुसपैठियों के प्रति पक्षपाती हैं। उन्होंने कहा, "कांग्रेस ने उन घुसपैठियों का समर्थन किया जिन्होंने असम की आबादी को बर्बाद कर दिया क्योंकि वे घुसपैठिए विपक्षी पार्टी के वोट बैंक हैं। इसके विपरीत, भाजपा ने हमेशा असम के लोगों के अधिकारों को सुनिश्चित करने के लिए काम किया है।" उन्होंने आगे कहा कि मौजूदा सरकार राज्य के मूल निवासियों की रक्षा के लिए अथक प्रयास कर रही है।

कोलकाता एयरपोर्ट से दीदी पर बरसे पीएम मोदी:बोले- बंगाल को मुक्त होना होगा जंगलराज से, दी 3200 करोड़ की सौगात
कोलकाता। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को शनिवार को पश्चिम बंगाल के नादिया में एक रैली को संबोधित करना था, लेकिन घने कोहरे की वजह से उनका विमान तहेरपुर हेलीपैड में नहीं उतर सका। काफी देर तक हवा में मंडराने के बाद हेलीकाप्टर कोलकाता एयरपोर्ट लौट गया। जिसके बाद पीएम ने एयरपोर्ट से वर्चुअली रैली को संबोधन किया। इस दौरान पीएम ने राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर जमकर हमला बोला। साथ ही बंगाल की तुलना जंगलराज से की। प्रधानमंत्री मोदी ने आरोप लगाया कि बंगाल में घुसपैठियों को टीएमसी का संरक्षण प्राप्त है। पीएम ने कहा कि गंगा बिहार से होकर बंगाल तक जाती है और बिहार ने बंगाल को रास्ता दिखाया है। उन्होंने कहा कि बंगाल को जंगलराज से मुक्त होना होगा। प्रधानमंत्री ने दोहराया कि वे पूरे दिल से बंगाल के लोगों के लिए समर्पित हैं और राज्य के लिए फंड और नीतियों की कोई कमी नहीं है।बंगाल में डबल इंजन सरकार बनने देंप्रधानमंत्री ने कहा कि पश्चिम बंगाल में कई विकास परियोजनाएं राज्य सरकार की वजह से लंबित पड़ी हैं। उन्होंने कहा कि अगर टीएमसी भाजपा का विरोध करना चाहती है तो करे, लेकिन राजनीतिक फायदे के लिए विकास को रोके जाने की बात समझ से बाहर है। पीएम मोदी ने लोगों से अपील की कि वे भाजपा को एक मौका दें, डबल इंजन सरकार बनने दें और भरोसा दिलाया कि उनकी सरकार बंगाल के विकास के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध रहेगी।पीएम मोदी ने अपने संबोधन से पहले 3,200 करोड़ रुपये के नेशनल हाईवे प्रोजेक्ट्स का उद्घाटन भी किया। पीएम मोदी सुबह करीब 10.40 बजे दिल्ली से कोलकाता पहुंचे थे। वहां से हेलिकॉप्टर से ताहिरपुर रवाना हुए। लेकिन, घने कोहरे के कारण हेलिकॉप्टर कुछ देर तक हेलीपैड के ऊपर मंडराने के बाद वापस कोलकाता लौट गया।

उद्धव के भरोसेमंद सुभाष भोईर आज लेंगे भाजपा की सदस्यता:शिवसेना यूबीटी को बड़ा झटका, मनपा चुनाव में हो सकता है नुकसान
मुंबई। महाराष्ट्र में महानगर पालिका चुनाव के बीच शिवसेना (यूबीटी) गुट को एक बड़ा राजनीतिक झटका लगा है। कल्याण रूरल सीट से पूर्व विधायक और उद्धव ठाकरे के भरोसेमंद माने जाने वाले नेता सुभाष भोईर ने अब शिवसेना (उद्धव गुट) का साथ छोड़ने का फैसला कर लिया है। यही नहीं वे आज भाजपा की सदस्यता लेंगे। जानकारी के अनुसार, सुभाष भोईर शनिवार सुबह 11 बजे महाराष्ट्र भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष रवींद्र चव्हाण की मौजूदगी में औपचारिक रूप से पार्टी की सदस्यता ग्रहण करेंगे। उनके इस फैसले को महानगर पालिका चुनाव से पहले उद्धव ठाकरे के लिए एक बड़ा राजनीतिक नुकसान माना जा रहा है।कल्याण रूरल क्षेत्र में घई की है मजबूत पकड़सुभाष भोईर ने वर्ष 2024 का विधानसभा चुनाव कल्याण रूरल सीट से शिवसेना (उद्धव गुट) के टिकट पर लड़ा था। हालांकि, इस चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था। इसके बावजूद वे उद्धव ठाकरे के मजबूत समर्थक के रूप में जाने जाते थे और लंबे समय तक उन्होंने ठाकरे परिवार के साथ अपनी निष्ठा बनाए रखी थी। कल्याण रूरल क्षेत्र में सुभाष भोईर की अच्छी पकड़ मानी जाती है। ऐसे में उनके भाजपा में जाने से स्थानीय राजनीति पर भी असर पड़ने की संभावना है।23 नगर परिषदों में मतदान जारीबता दें कि राज्य की 23 नगर परिषदों और नगर पंचायतों में अध्यक्ष व सदस्य पदों के लिए शनिवार सुबह 7ः 30 बजे से मतदान जारी है। मतदान प्रक्रिया शाम 5ः30 बजे तक चलेगी। इस चरण में अध्यक्ष पदों के साथ-साथ विभिन्न निकायों में खाली पड़े 143 सदस्य पदों के लिए भी वोटिंग हो रही है। 21 दिसंबर को सुबह 10 बजे से मतगणना की प्रक्रिया शुरू होगी। दोपहर तक यह साफ हो जाएगा कि महाराष्ट्र के इन छोटे शहरों और नगरों की सत्ता किसके हाथ में जाएगी।

मनरेगा योजना का नाम बदलने पर सियासी घमासान:शाहनवाज ने कांग्रेस को लिया निशाने पर, कहा- इनको इस नाम से है परेशानी
नई दिल्ली। मनरेगा योजना का नाम बदलने पर सियासी घमासान मचा हुआ है। कांग्रेस समेत सभी विपक्षी दल एकजुट होकर केन्द्र सरकार पर हमलावर है। इस घमासान के बीच भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन ने कांग्रेस को अपने निशाने पर ले लिया है। उन्होंने कहा कि उन्हें तो श्रीराम शुरू से ही काल्पनिक लगते रहे हैं और जब मनरेगा का नाम बदला गया तो उन्हें परेशानी होना स्वाभाविक है। बता दें कि लोकसभा के बाद गुरुवार को विकसित भारत- गारंटी फॉर रोजगार एंड आजीविका मिशन (ग्रामीण) बिल राज्यसभा में भी पास हो गया। विपक्ष ने इस बिल के विरोध में जमकर नारेबाजी की।शाहनवाज हुसैन ने कहा कि कांग्रेस को बिल के सुधार से समस्या नहीं है, जी राम जी से परेशानी है, क्योंकि इसमें राम नाम जुड़ा है। उन्होंने कहा कि जी राम जी बिल पास हुआ, विपक्ष को तो खुश होना चाहिए। हमने रोजगार की गारंटी और बढ़ा दी है, लेकिन विपक्ष को ऐतराज तो इस पर होता है कि कहीं से राम जी का नाम न आ जाए। कांग्रेसियों, ऐसा काम न करो, राम जी के नाम पर इतना हंगामा मत करो। जो कांग्रेसी हैं, उनको तो श्रीराम काल्पनिक लगते हैं। उन्होंने तो कोर्ट में लिखकर दिया था कि काल्पनिक हैं। इसलिए जब राम जी का नाम आता है तो उनको ऐतराज होता है।हुसैन का सवाल- बिल पर क्या है ऐतराजशाहनवाज हुसैन ने सवाल किया कि बिल पर क्या ऐतराज है? रोजगार की तो गारंटी बढ़ाई गई है, इसमें बहुत सारे सुधार किए गए हैं और जो त्रुटियां थीं, वो सब दूर की गई हैं। उन्होंने याद दिलाया कि महात्मा गांधी ने अपना अंतिम शब्द हे राम ही कहा था। उन्होंने कहा कि इथियोपिया, जॉर्डन और ओमान में प्रधानमंत्री मोदी का अभी जो दौरा हुआ है, वहां देश को सबसे बड़ा सम्मान मिला है। पूरी दुनिया में हो रहा भारत का नामभाजपा नेता ने कहा कि प्रधानमंत्री ने सही कहा है कि देश की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है। पूरी दुनिया में भारत का नाम हो रहा है। भारत का नाम रोशन हो रहा है। भारत एक तेजी से बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था है। भारत के अंदर आज विश्वास पूरी दुनिया का बढ़ा है। भारतीयों का विश्वास बढ़ा है। इसलिए जहां भी चुनाव होते हैं, वहां जनता का विश्वास मिलता है। यही वजह है कि बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था का लोहा दुनिया मान रही है। दुनिया भारत से समझौता करना चाहती है। भारत से रिश्ता बनाना चाहती है। पीएम मोदी का सम्मान भारत का सम्मान है।

कैश फॉर क्वेरी मामले में टीएमसी सांसद को राहत:दिल्ली हाईकोर्ट ने लोकपाल के आदेश को किया रद्द
नई दिल्ली। कैश फॉर क्वेरी मामले में तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा को राहत मिली गई है। दिल्ली हाईकोर्ट ने इस मामले में लोकपाल के आदेश को रद्द कर दिया है। टीएमसी सांसद ने लोकपाल के आदेश को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा का कहना है कि लोकपाल ने उनकी ओर से रखे गए तर्कों पर विचार किए बिना आदेश पारित किया है। मोइत्रा ने यह भी आरोप लगाया था कि सीबीआई को चार्जशीट दाखिल करने की मंजूरी देने का आदेश गलत है और लोकपाल अधिनियम के प्रावधानों के विपरीत है। साथ ही यह प्राकृतिक न्याय के सिद्धांतों का घोर उल्लंघन है। सीबीआई ने मोइत्रा पर गंभीर आरोप लगाए गए थे। जांच एजेंसी ने 28 जुलाई को अपनी जांच रिपोर्ट लोकपाल को सौंप दी थी।लोकपाल की सिफारिश पर सीबीआई ने भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत पिछले साल 21 मार्च को महुआ और हीरानंदानी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी। पिछली लोकसभा में मोइत्रा को दिसंबर 2023 में श्अनैतिक आचरणश् के लिए सदन से निष्कासित कर दिया गया था। उनका कहना था कि यह साजिश के तहत किया गया और बिना सफाई का मौका दिए उन्हें सदन से निष्कासित किया गया और इसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी।अधिकारियों के अनुसार, सीबीआई ने जांच में पाए गए तथ्यों को लोकपाल के सामने रखा है, जो अब मामले में अगला कदम सुनिश्चित करेगा। इस मामले ने राजनीतिक हलकों में हलचल मचा दी है। इससे पहले तृणमूल कांग्रेस की सांसद महुआ मोइत्रा तब चर्चा में आ गई थीं, जब बीजू जनता दल (बीजेडी) के पूर्व सांसद तथा सीनियर वकील पिनाकी मिश्रा के साथ शादी को लेकर उन्होंने 5 जून को एक पोस्ट सोशल मीडिया पर किया था। पिनाकी मिश्रा के साथ केक काटते हुए एक तस्वीर सोशल मीडिया हैंडल पर पोस्ट कर महुआ ने कैप्शन में लिखा था, ष्आप सभी के प्यार और शुभकामनाओं के लिए धन्यवाद। अत्यंत आभारी हूं। 2024 के आम चुनावों में महुआ मोइत्रा ने भाजपा की अमृता रॉय को हराकर अपनी कृष्णानगर सीट पर जीत को बरकरार रखा।

संसद के शीतकालीन सत्र का समापन:स्पीकर की टी पार्टी में शामिल हुए मोदी-प्रियंका, सियासी गलियारे में चर्चाओं का बाजार गर्म
नई दिल्ली। संसद का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को अनिश्चितकाल के स्थगित हो गया है। सत्र के लोकसभा में विपक्ष सांसदों के हंगामे के कारण कोई विधायी काम नहीं हुआ और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सदन की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित करने की घोषणा कर दी। इसके कुछ देर बाद ही राज्यसभा के सभापति ने भी राज्यसभा की कार्यवाही को भी अनिश्चितकाल के लिए स्थगित करने का ऐलान कर दिया। शीतकालीन सत्र समाप्त होने के बाद परंपरा के मुताबिक चाय पार्टी का आयोजन हुआ। टी पार्टी का वीडियो भी सामने आया है, जिसमें लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह विपक्षी कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी, एनसीपी (एसपी) की सुप्रिया सुले, सपा सांसद धर्मेंद्र यादव समेत विभिन्न दलों के नेता शामिल दिखाई दिए। तस्वीरें सामने आने के बाद अब कयास लगने शुरू हो गए हैं कि इस टी मीटिंग में क्या-क्या बातें हुईं?राजनाथ सिंह के बगल वाली सीट में बैठी प्रियंकासूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रियंका गांधी के बीच वायनाड को लेकर बातचीत हुई है। बता दें कि प्रियंका गांधी वायनाड लोकसभा सीट से सांसद हैं। प्रधानमंत्री मोदी के साथ कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी की बातचीत को सदन में सत्तापक्ष और विपक्ष की तल्खी से अलग सौहार्दपूर्ण और सकारात्मक बताया जा रहा है। खास बात ये रही कि वायनाड से पहली बार की सांसद प्रियंका गांधी को केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के बगल वाली सीट दी गई। वहीं रक्षा मंत्री के पास वाली सीट पर प्रधानमंत्री मोदी बैठे दिखाई दिए। संसद सत्र के समापन के बाद यह है परंपरागौरतलब है कि संसद सत्र के समापन पर लोकसभा अध्यक्ष सत्ता पक्ष और विपक्ष के सांसदों के साथ बैठक करते हैं। मानसून सत्र के समापन पर भी ऐसी बैठक हुई थी, लेकिन विपक्ष ने उस बैठक का बहिष्कार किया था। इस बार की बैठक में प्रियंका गांधी शामिल हुईं। गडकरी ने प्रियंका को कराया था भोजनगुरुवार को लोकसभा में जब प्रियंका गांधी ने सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से समय नहीं मिलने की शिकायत की थी तो उन्होंने कहा था कि उनका दरवाजा तो हमेशा खुला रहता है। गडकरी ने कहा कि आप प्रश्नकाल के बाद उनके ऑफिस में आकर मिल सकती हैं। इसके बाद प्रियंका गांधी ने सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी के कार्यालय में जाकर मुलाकात की थी, जहां गडकरी ने उन्हें स्वादिष्ट डिश भी खिलाई। सत्र समापन के बाद भी जो तस्वीरें सामने आईं, उनमें भी सत्ता और विपक्षी सांसद मुस्कुराते हुए नजर आए, जो कहीं न कहीं देश के लोकतंत्र की खूबसूरती को दिखाती हैं।

यही कसूर मैं बार-बार करता रहा...:कोडीन कफ सिरप मामले योगी ने सपा पर किया तीखा प्रहार, माफिया से बंध होने का भी लगाया आरोप
लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा का शीतकालीन सत्र शुक्रवार को आगाज हो गया है। सत्र के शुरू होने से पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मीडिया को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने कोडीन कफ सिरप मामले पर समाजवादी पार्टी पर तीखा हमला बोला। योगी ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि माफिया के संबंध समाजवादी पार्टी से रहे हैं। सीएम योगी ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि हमारी जांच अभी जारी है और अभी तक जितने लोग पकडे गए है उनके तार समाजवादी पार्टी से जुड़े हुए हैं। बहुत जल्द जांच की रिपोर्ट आ जाएगी और दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा। उन्होंने कहा कि प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि जिन अभियुक्तों को एसटीएफ या यूपी पुलिस की ओर से पकड़ा गया है, उनके संबंध समाजवादी पार्टी से सामने आए हैं। समाजवादी पार्टी पहले से कुख्यात है और अब इस पूरे मामले में उसकी संलिप्तता सामने आएगी। इस पूरे मामले की जांच के लिए राज्यस्तरीय एसआईटी कार्य कर रही है। इसमें यूपी पुलिस और एफएसडीए से जुड़े अधिकारी मौजूद हैं। किन-किन लोगों को इसमें धन गया है, ये सारी बातें जांच में आएंगी।जांच के बाद हो जाएगा दूध का दूध और पानी का पानीमुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि इस विषय में पूरी रिपोर्ट आने के बाद ही अंतिम रूप से कुछ कहा जा सकता है, लेकिन इतना अवश्य कहा जा सकता है कि सपा प्रमुख द्वारा जो बातें कही जा रही हैं, उनकी स्थिति वही है, जैसा कि इस पंक्ति में कहा गया है “यही कसूर मैं बार-बार करता रहा, धूल चेहरे पर थी, आईना साफ करता रहा।” यानी, जिन माफियाओं के साथ उनकी तस्वीरें सामने आ रही हैं, स्वाभाविक रूप से अवैध लेन-देन में उनकी संलिप्तता कहीं न कहीं सामने आएगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जांच होने दीजिए, दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा।सिरप की अवैध तस्करी पर कार्रवाई जारीमुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कोडीन एनडीपीएस अधिनियम के अंतर्गत आने वाली एक औषधि है। इसका उपयोग कोडीन-युक्त कफ सिरप के निर्माण में किया जाता है, जो गंभीर खांसी के उपचार में प्रयुक्त होता है। इसका कोटा और आवंटन सेंट्रल नारकोटिक्स ब्यूरो द्वारा केवल अधिकृत औषधि निर्माण के लिए ही किया जाता है। उन्होंने कहा कि यह कफ सिरप कई स्थानों पर नशीले पदार्थ के रूप में दुरुपयोग किया जा रहा था। अवैध तस्करी की शिकायतें मिलने के बाद उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा कार्रवाई की गई। उत्तर प्रदेश पुलिस और खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन (एफएसडीए) के नेतृत्व में इसे एनडीपीएस अधिनियम के अंतर्गत मानते हुए कार्रवाई प्रारंभ की गई।

20 साल के मनरेगा को एक दिन में कर दिया गया खत्म:राहुल का मोदी सरकार पर तीखा हमला, लगाया यह भी आरोप
नई दिल्ली। मनरेगा का नाम बदलकर विकसित भारत-जी राम जी करने पर देश की सियासत गरमाई हुई है। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने विकसित भारत जी राम जी विधेयक को लेकर केंद्र की मोदी सरकार पर तीखा हमला बोला है। बता दें विकसित भारत गारंटी फॉर रोजगार एंड आजीविका मिशन विधेयक ‘जी राम जी’ को भारी हंगामे के बीच 18 दिसंबर को लोकसभा में पारित कर दिया गया। यह विधेयक महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा), 2005 को निरस्त कर उसकी जगह लेगा। राहुल गांधी ने एक्स पर लिखा कि मोदी सरकार ने 20 साल के मनरेगा को एक दिन में खत्म कर दिया। राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि सरकार ने विकसित भारत जी राम जी विधेयक को बिना ठीक से जांच पड़ताल किए संसद से पारित करवा दिया। राहुल ने कहा कि मोदी सरकार ने एक ही दिन में मनरेगा के बीस साल खत्म कर दिए। विकसित भारत-जी राम जी मनरेगा का सुधार नहीं है। यह अधिकार-आधारित, मांग-आधारित गारंटी को खत्म कर देता है और इसे एक राशन वाली योजना में बदल देता है जिसे दिल्ली से कंट्रोल किया जाता है। मनरेगा ने ग्रामीण मजदूरों को मोलभाव करने की ताकत दीयह डिजाइन से ही राज्य-विरोधी और गांव-विरोधी है। मनरेगा ने ग्रामीण मजदूरों को मोलभाव करने की ताकत दी। असली विकल्पों के साथ, शोषण और मजबूरी में पलायन कम हुआ, मजदूरी बढ़ी, काम करने की स्थिति में सुधार हुआ, और साथ ही ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण और पुनरुद्धार भी हुआ। यह वही ताकत है जिसे यह सरकार तोड़ना चाहती है। काम को सीमित करके और इसे मना करने के और तरीके बनाकर, विकसित भारत-जी राम जी उस एकमात्र साधन को कमजोर करता है जो ग्रामीण गरीबों के पास था। कोविड के दौरान मनरेगा ने लाखों को भूख से बचायाराहुल ने कहा कि हमने देखा कि कोविड के दौरान मनरेगा का क्या मतलब था। जब अर्थव्यवस्था बंद हो गई और आजीविका खत्म हो गई, तो इसने करोड़ों लोगों को भूख और कर्ज में डूबने से बचाया और इसने महिलाओं की सबसे ज्यादा मदद की। साल दर साल, महिलाओं ने आधे से ज्यादा मानव-दिवस में योगदान दिया है। जब आप किसी रोजगार कार्यक्रम में राशनिंग करते हैं, तो महिलाएं, दलित, आदिवासी, भूमिहीन मजदूर और सबसे गरीब ओबीसी समुदाय सबसे पहले बाहर हो जाते हैं।राहुल ने यह भी लगाया आरोपराहुल गांधी ने आगे लिखा कि सबसे बड़ी बात यह है कि इस कानून को बिना किसी ठीक से जांच-पड़ताल के संसद में जबरदस्ती पास कर दिया गया। बिल को स्थायी समिति को भेजने की विपक्ष की मांग को खारिज कर दिया गया। एक ऐसा कानून जो ग्रामीण सामाजिक अनुबंध को बदलता है, जो करोड़ों मजदूरों को प्रभावित करता है, उसे कभी भी गंभीर समिति की जांच, विशेषज्ञ परामर्श और सार्वजनिक सुनवाई के बिना जबरदस्ती पास नहीं किया जाना चाहिए।पीएम मोदी के लक्ष्य साफराहुल ने आगे लिखा कि पीएम मोदी के लक्ष्य साफ हैं, मजदूरों को कमजोर करना, ग्रामीण भारत, खासकर दलितों, ओबीसी और आदिवासियों की ताकत को कमजोर करना, सत्ता को केंद्रीकृत करना और फिर नारों को सुधार के रूप में बेचना। मनरेगा दुनिया के सबसे सफल गरीबी उन्मूलन और सशक्तीकरण कार्यक्रमों में से एक है। हम इस सरकार को ग्रामीण गरीबों की आखिरी सुरक्षा पंक्ति को नष्ट नहीं करने देंगे। हम इस कदम को हराने के लिए मजदूरों, पंचायतों और राज्यों के साथ खड़े होंगे और यह सुनिश्चित करने के लिए देशव्यापी मोर्चा बनाएंगे कि इस कानून को वापस लिया जाए।

गोवा मुक्ति दिवस:पीएम मोदी, अमित शाह, जेपी नड्डा ने वीरों को दी श्रद्धांजलि
नई दिल्ली। हर साल 19 दिसंबर को गोवा मुक्ति दिवस के रूप में मनाया जाता है। इसी दिन भारतीय गणराज्य के मानचित्र पर गोवा, दमन और दीव को पुर्तगाली शासन से मुक्त कर भारत में शामिल किया गया था। इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केन्द्रीय गृह मंत्री, स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा और गोवा के सीएम प्रमोद सावंत ने उन वीरों को श्रद्धांजलि अर्पित की, जिनके दृढ़ संकल्प और बलिदान ने इस क्षेत्र को पुर्तगाली शासन से आजादी दिलाई।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, गोवा मुक्ति दिवस हमें हमारी राष्ट्रीय यात्रा के एक अहम अध्याय की याद दिलाता है। हम उन लोगों के अदम्य साहस को याद करते हैं जिन्होंने अन्याय को मानने से इनकार कर दिया और हिम्मत और पक्के इरादे के साथ आजादी के लिए लड़ाई लड़ी। उनके बलिदान हमें आज भी प्रेरणा देते हैं, क्योंकि हम गोवा की चैतरफा तरक्की के लिए काम कर रहे हैं।बहादुर आत्माओं की विरासत पीढ़ियों को करेगी प्रेरितभाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने एक्स पोस्ट में लिखा, गोवा मुक्ति दिवस पर मैं इस खूबसूरत राज्य के अपने भाइयों और बहनों को दिल से शुभकामनाएं देता हूं। आज, हम उन बहादुर आत्माओं को याद करते हैं जिनकी हिम्मत और बलिदान से गोवा आजाद हुआ और सही मायने में आजमद भारत का हिस्सा बना। उनकी विरासत पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी। मैं इन नायकों को सम्मान के साथ नमन करता हूं और हर गोवावासी की भलाई, खुशी और तरक्की के लिए प्रार्थना करता हूं।गोवा भारत का अभिन्न अंगः अमित शाहकेंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने शुभकामनाएं देते हुए लिखा, आज की पीढ़ी शायद यह नहीं जानती कि 1961 तक भारतीयों को गोवा जाने के लिए परमिशन लेनी पड़ती थी। प्रभाकर वैद्य, बाला राया मापारी, नानाजी देशमुख और जगन्नाथ राव जोशी जैसे कई महान लोगों ने इसके खिलाफ आवाज उठाई और गोवा की आजादी के लिए लड़ाई लड़ी। हमारे देशभक्तों के महान बलिदानों के बाद, गोवा भारत का एक अभिन्न अंग बन गया। पूरे दिल से आभार व्यक्त करते हुए, मैं उन सभी महान आत्माओं को नमन करता हूं जिन्होंने गोवा की आजादी के लिए बहुत कष्ट सहे।शहीदों को दिल से श्रद्धांजलिः गोवा के सीएम गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने एक्स पोस्ट में लिखा, गोवा मुक्ति दिवस पर आइए हम गर्व से उस ऐतिहासिक पल को याद करें जिसने औपनिवेशिक शासन का अंत किया और गोवा को भारतीय संघ में मिलाया। इस दिन, मैं उन स्वतंत्रता सेनानियों और शहीदों को दिल से श्रद्धांजलि देता हूं जिनके साहस, बलिदान और अटूट संकल्प ने गोवा की मुक्ति का रास्ता बनाया। यह दिन हमें हमारी मुश्किल से मिली आजादी को संजोने और एक आत्मनिर्भर और विकसित गोवा के लिए मिलकर काम करते रहने की याद दिलाता है। इस गौरवपूर्ण और ऐतिहासिक अवसर पर सभी गोवावासियों को हार्दिक शुभकामनाएं।एक अन्य पोस्ट में उन्होंने लिखा, गोवा मुक्ति दिवस पर हम उन लोगों को याद करते हैं जिन्होंने हमारी आजादी के लिए लड़ाई लड़ी। उनके विजन ने गोवा को एक नई शुरुआत दी। आज, हम एक ऐसा राज्य बनाने में लगे हैं जो अपनी विरासत पर गर्व करता है, अपनी यात्रा में आत्मविश्वासी है, और सभी की प्रगति के लिए प्रतिबद्ध है। हम अपने स्वतंत्रता सेनानियों का सम्मान करते हुए एक ऐसा गोवा बना रहे हैं जो उनके सपनों को दिखाता है, जो मजबूत, समावेशी और भविष्य की ओर देखने वाला है।

वित्त मंत्री देवड़ा ने गिनाईं विभाग की उपलब्धियां:तकनीकी नवाचारों से रोके सरकारी खजाने के लीकेज
भोपाल। वित्त विभाग ने तकनीकी नवाचारों से बजट में होने वाली गड़बडियों पर लगाम कसने और बजट खर्च की सीधी निगरानी करने में कुद हद कद सफलता हासिल की है। भविष्य में आयकर विभाग की तर्ज पर बजट भुगतान से संबंधित फाइलों की मंजूरी दी जाएगी। यानी एक जिले की फाइल किसी अन्य जिले से मंजूर हो सकती है। इसके लिए वित्त विभाग ने अलग-अलग तकनीकी नवाचार किए हैं। जिनके जरिए गलत भुगतानों को भी पकड़ा गया है। वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने गुरुवार को जनसंपर्क संचालनालय में वित्त विभाग की दो साल की उपलब्धियां गिनाते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा किवित्त विभाग शून्य आधारित बजट प्रक्रिया के अनुसार बजट तैयार किया जा रहा है। तीन वर्षों के लिये रोलिंग बजट की प्रक्रिया अपनाई गई है, जिसमें बजट प्रक्रिया से संबंधित नवाचार अपनाएं जा रहे है। देवड़ा ने कहा कि प्रदेश में पूंजीगत व्यय में लगातार वृद्धि हो रही है जिससे प्रदेश के ही सकल घरेलू उत्पाद में नियमित वृद्धि बनी हुई है। देवड़ा ने कहा कि वित्तीय मानकों के आधार पर प्रदेश की स्थिति बहुत सुदृढ़ है। उन्होंने बताया कि संचालनालय कोष एवं लेखा द्वारा कई नवाचारी व्यवस्था लागू की है। उन्होंने यह भी बताया कि शासकीय सेवकोंध् पेंशनरों के हित में कई निर्णय लिये गये है। देवड़ा ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2024-25 में 55 हजार 634 करोड़ रूपये का राजस्व प्राप्त हुआ था। वर्ष 2025-26 में माह नवम्बर तक कुल 34 हजार 829 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ है। वर्ष 2025-26 में माह नवम्बर तक डाटा एनालिटिक्स आधारित चिन्हित प्रकरणों में प्रवर्तन कार्यवाहियों से 967 करोड़ एवं ऑडिट की कार्यवाही से 404 करोड़ रु का राजस्व प्राप्त हुआ है।मप्र करेगा शराब का निर्यातदेवड़ा ने बताया कि राजस्व बढ़ाने के लिये राज्य तथा देश के बाहर मदिरा के निर्यात को बढ़ावा देने के लिए एकीकृत पॉलिसी बनाई जाएगी। मदिरा उपभोगध्विक्रय के एक दिवस का लायसेंस मोबाइल एप्लीकेशन के माध्यम से जारी किया जाएगा। प्रदेश के समस्त शासकीय विभाग, निगम, मंडल द्वारा दिए जा रहे वर्क आर्डर तथा भुगतान की जानकारी एक ही स्थान पर उपलब्ध हो सके इसके लिये डाटा रिपोजटरी बनाया जाएगा। डाटा एनालिटिक्स के उपयोग से प्रवर्तन की कार्यवाही की जावेगी तथा बोगस व्यवसायियों पर सतत् निगरानी रखी जाकर गलत आईटीसी के उपयोग पर अंकुश लगाया जाएगा। कर अपवंचन की रोकथाम हेतु चलित वाहनों के माध्यम से किये जा रहे कर अपवंचन पर नियंत्रण एवं निगरानी हेतु यूनिफाइड लॉजिस्टिक्स इंटरफेस प्लेटफॉर्म का उपयोग किया जाएगा। उन्होंने बताया कि विभाग में पृथक से डेटा एनालिटिक्स एवं टैक्स रिसर्च यूनिट का गठन किया जायेगा।जमीनों की रजिस्ट्री आधार बेसदेवड़ा ने बताया कि मप्र देश का प्रथम राज्य है जिसमें 75 प्रकार के दस्तावेज पट्टा, पॉवर ऑफ अटर्नी, बंधक इत्यादि का घर बैठे वीडियो केवायसी के माध्यम से पंजीयन हो रहा है। संपदा 2.0 को राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस पुरस्कार 2025 में स्वर्ण पदक मिला है। प्रदेश के लिए यह गौरव की बात है। साथ ही क्रेता एवं विक्रेता की पहचान आधार और पेन ई-केवायसी से किये जाने के कारण जनता को सुविधा हुई है।हर जन्म-मृत्यु का पंजीयन अनिवार्यदेवड़ा ने बताया कि वर्ष 2024-25 में प्रदेश का सकल राज्य घरेलू उत्पाद (15 लाख 03 हजार 395 करोड़) रूपये रहा एवं प्रति व्यक्ति आय 1 लाख 52 हजार 615 रूपये रही। प्रदेश में सिविल रजिस्ट्रेशन सिस्टम पोर्टल द्वारा शत-प्रतिशत जन्म-मृत्यु रजिस्ट्रीकरण का कार्य ऑनलाइन किया जा रहा है।

लोकसभा में वीबी-जी-राम-जी बिल पास:विपक्ष ने महात्मा गांधी का अपमान करने लगाया आरोप, कृषि मंत्री ने दिया करारा जवाब
नई दिल्ली। संसद का मॉनसून सत्र चल रहा है। लोकसभा में गुरुवार को विकसित भारत गारंटी फॉर रोजगार एंड आजीविका मिशन (ग्रामीण) बिल, 2025 पास हो गया है। इस दौरान संसद में पक्ष-विपक्ष के बीच तीखी नोंकझोंक भी देखने को मिली। विपक्ष सोंसदों ने सरकार पर महात्मा गांधी का अपमान करने और महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम के प्रावधानों को कमजोर करने का आरोप लगाया। हालांकि केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चैहान ने सरकार के इस कदम का बचाव किया और विपक्ष के आरोपों का भी जवाब भी दिया। शिवराज ने कहा, मनरेगा में महात्मा गांधी का नाम 2009 के चुनावों को ध्यान में रखकर जोड़ा गया था। उन्होंने आरोप लगाया कि विपक्ष सरकार का जवाब सुनना ही नहीं चाहता। शिवराज ने सरकार की तरफ से जारी आंकड़े पेश करते हुए कहा कि पूर्ववर्ती सरकारों ने फंड का दुरुपयोग किया, लेकिन हमारी सरकार ने विकास कार्यों पर खर्च करने पर जोर दिया। शिवराज सिंह चैहान ने दावा किया कि सरकार किसानों के साथ-साथ गरीबों के कल्याण के लिए विधेयक लाई है, जिसका विरोध किया जा रहा है।सीनियर बीजेपी नेता ने कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी की इस आलोचना का भी जवाब दिया कि मोदी सरकार मनमर्जी से योजनाओं का नाम बदल देती है, और नेहरू-गांधी के नाम पर कई कल्याणकारी कार्यक्रमों की लिस्ट गिनाई। उन्होंने कहा, सबसे पहले इस पवित्र सदन में मैं आपको धन्यवाद देना चाहता हूं। सभापति महोदय को धन्यवाद देना चाहता हूं। इस विषय पर हमने माननीय सदस्यों के विचार सुने हैं। अब जवाब देना मेरा अधिकार है। मैं आपसे संरक्षण चाहता हूं। मैंने रात के डेढ़ बजे तक माननीय सदस्यों की बात सुनी है। अपनी बात सुना देना और फिर जवाब न सुनना ये लोकतांत्रिक परंपराओं को तार-तार करना है। संविधान की धज्जियां उड़ाना है। ये बापू के आदर्शों की हत्या भी कर रहे हैं। अपनी बात सुना दो और हमारी न सुनो। ये भी हिंसा है। यह बापू के आदर्शों की हत्या करने का काम कांग्रेस और बाकी विपक्ष कर रहे हैं।हम गांधी के आदर्शों पर चलने वाले लोगः कृषि मंत्रीउन्होंने कहा, सबसे पहले मैं पूज्य बापू (राष्ट्रपति महात्मा गांधी) के चरणों में प्रणाम करना चाहता हूं। बापू हमारी श्रद्धा हैं। बापू जी हमारे आदर्श हैं। बापू हमारी प्रेरणा हैं। बापू हमारे विश्वास हैं। इसलिए माननीय अध्यक्ष महोदय भारतीय जनता पार्टी ने अपने पंच निष्ठाओं में गांधी के सामाजिक-आर्थिक दर्शन को स्थान दिया है। हम गांधी जी के आदर्शों पर चलने वाले हैं। गांधी जी ने ही कहा था कि गांव भारत की आत्मा है। अगर गांव मर जाएंगे, भारत मर जाएगा। किसी राज्य के साथ भेदभाव नहीं करतेकृषि मंत्री ने कहा, यह गांवों के विकास का विधायक है। माननीय प्रतिपक्षी सदस्यों ने कई तरह के आरोप लगाए। एक बात यह कही कि हम भेदभाव करते हैं। सारा देश हमारे लिए एक है। चेन्नई हो या गुवाहाटी, अपना देश-अपनी माटी। अलग भाषा-अलग वेष, फिर भी अपना एक देश। उन्होंने आगे कहा, मैं इनको बताना चाहता हूं कि अटल जी ने क्या कहा था। माननीय अध्यक्ष महोदय, हम देश के किसी भी राज्य के साथ भेदभाव नहीं करते। हमारे नेता अटल बिहारी वाजपेयी ने कहा था - यह देश हमारे लिए जमीन का टुकड़ा नहीं है, जीता-जाता राष्ट्र पुरुष है। कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी की टिप्पणी पर जवाब देते हुए कृषि मंत्री शिवराज सिंह चैहान ने कहा कि सनक मोदी सरकार पर सवार नहीं है। उन्होंने कहा कि अपने खानदान का महिमामंडन करने के लिए इन्होंने महात्मा गांधी की बजाय केवल नेहरू परिवार के नाम पर सरकारी योजनाओं का नामकरण किया। कांग्रेस पर खानदान के महिमामंडन में लिप्त होने का आरोप लगाते हुए शिवराज ने कहा कि नेहरू परिवार के नाम पर योजनाओं के नाम रखे गए। उन्होंने दावा किया कि 25 नाम स्वर्गीय राजीव गांधी और 27 नाम इंदिरा गांधी के नाम पर रखे गए। इसके अलावा शैक्षणिक संस्थानों, सड़कों, इमारतों, अवार्ड्स के नाम भी इसी खानदान के लोगों के नाम पर रखे गए।

विस सत्र में सीएम ने रखा मप्र को विकसित बनाने का संकल्प: सत्तापक्ष बोला लक्ष्य 2047, विपक्ष ने कहा 2026 क्यों नहीं?
भोपाल। मध्यप्रदेश को विकसित, आत्मनिर्भर और समृद्ध राज्य बनाए जाने को लेकर आहूत हुए मप्र विधानसभा के एक दिवसीय विशेष सत्र में सत्तापक्ष और विपक्ष के कई वरिष्ठ सदस्यों ने अपने विचार रखे। सत्तापक्ष ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विजन-2047 आत्मनिर्भर भारत बनाने की दिशा में मप्र की भूमिका और भावी कार्य योजना पर विचार विचार रखें, वहीं विपक्ष ने कहा कि 2047 के स्थान पर सरकार 2026-27 के लक्ष्य की बात क्यों नहीं करती। विधानसभा की कार्रवाई शुरू होते ही सबसे पहले दिवंगतों के निधन का उल्लेख कर सदन की ओर से मुख्यमंत्री, नेता प्रतिपक्ष सहित अन्य सदस्यों ने श्रद्धासुमन अर्पित किए गए। कुछ देर मौन के बाद कार्रवाई 5 मिनट के लिए स्थगित हुई। पुनरू कार्रवाई शुरू होते ही विधानसभा अध्यक्ष के निर्देश पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने श्मध्यप्रदेश को विकसित, आत्मनिर्भर तथा समृद्ध राज्य बनाया जाए्य संकल्प प्रस्तुत किया। संकल्प प्रस्तुत होने के बाद अध्यक्ष ने सदन में इस पर चर्चा के लिए कुल 7 घंटे का समय निर्धारित किया। दो घंटे मुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष के लिए, शेष 5 घंटे अन्य सदस्यों के लिए रखे गए। हमारे पास नेता, नीति और नीयतः मुख्यमंत्री मुख्यमंत्री ने सदन में अपने संबोधन में कहा कि हमारे पास नेता भी है, नीति भी है और नीयत भी है। हम ठोक बजाकर पूरे आत्मविश्वास के साथ विकसित, आत्मनिर्भर मध्यप्रदेश बनाकर ही दम लेंगे, इसके लिए मेहनत की पराकाष्ठा करेंगे, यह संकल्प हमारा है। उन्होंने कहा, मध्यप्रदेश की सरकार ने पिछले दो वर्षों में विकास के हर क्षेत्रों में ऐतिहासिक उपलब्धियां हासिल कीं। ऐतिहासिक निर्णयों, नीतियों से मध्यप्रदेश में परिवर्तन का नया दौर प्रारम्भ हुआ है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह के नेतृत्व में हमने 11 दिसम्बर को नक्सलवादियों के लाल सलाम को आखिरी सलाम किया। आतंक, उग्रवाद से जुड़े मॉड्यूल को भी ध्वस्त किया है। भारतीय मुजाहिदीन, आईएसआई समर्थक समूह, टेरर फंडिंग, चरस नेटवर्क इत्यादि सभी पर कार्यवाही करते हुए 20 से अधिक आरोपियों को हमने गिरफ्तार किया है। मनी लॉन्ड्रिंग के 1300 से अधिक खातों में 2 हजार करोड़ के अवैध लेन-देन का खुलासा किया है। अवैध हथियार फैक्ट्री को ध्वस्त कर 1900 से अधिक बैरल, शटल, नालियां, हथियार बनाने की सामग्री सहित अवैध हथियारों को बरामद किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने दो वर्ष पूरे किये हैं और मैं यह दावे के साथ कह सकता हूं कि हम सबने मिलकर के न केवल दूरगामी दृष्टि से निर्णय लिए, बल्कि ऐसे निर्णय भी लिये, जो आज तो थोड़े से कम लगेंगे, लेकिन आने वाले समय में मील के पत्थर के रूप में जाने जाएंगे। मुख्यमंत्री ने मप्र सरकार की योजनाओं और कामों से जुड़ी कई उपलब्धियों और भावी योजनाओं का उल्लेख सदन में किया। जनता को 2047 के सपने दिखा रही सरकारः सिंघार नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने चर्चा का स्वागत करते हुए कहा कि एक दिवसीय सत्र का लाइव टेलीकास्ट होता तो जनता देखती कि भारतीय जनता पार्टी की सरकार जो वर्ष 2047 लाना चाहती है तो वह भी यह देखती कि क्या सपने दिखाए जा रहे हैं। 17 दिसम्बर 1956 को पहला सत्र हुआ और वह सत्र एक महीना चला। 17 जनवरी तक चला तो क्या आज हम शपथ लेंगे कि विधान सभा सत्र आगे भी लंबा चलेंगे। जनता के कई सवाल होते हैं, लेकिन सिर्फ विकास की घोषणाओं से काम नहीं चलेगा। उज्जैन में लैंण्डपूलिंग योजना की वापसी को लेकर उन्होंने उन्होंने कहा कि किसानों के हित में कांग्रेस इसका विरोध कर रही थी। हम विकास पर चर्चा करना चाहते हैं, लेकिन सरकार संवाद से डरती है। वर्ष 2047 के पहले वर्ष 2028 आने वाला है। वह क्यों भूल गये। हमको गारंटी चाहिए लेकिन वर्ष 2047 की गारंटी नहीं चाहिए हमको वर्ष 2026 की गारंटी चाहिए जब हम इस सत्र को मानेंगे। उप नेता प्रतिपक्ष ने मप्र में कानून व्यवस्था सहित अन्य मुद्दे उठाए। सत्तापक्ष की ओर से मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, प्रहलाद पटेल, राजेन्द्र शुक्ला, राकेश सिंह, विपक्ष की ओर से बाला बच्चन, राजेन्द्र सिंह, फूलसिंह बरैया सहित अन्य विधायकों ने अपनी बात रखी। विधानसभा की 70 वीं वर्षगांठ पर लगी प्रदर्शनी, राज्यपाल ने किया शुभारंभ मप्र विधानसभा की 70 वीं वर्षगांठ पर विधानसभा की विकास यात्रा पर केंद्रित प्रदर्शनी श्1956 से 2025 तक-इतिहास के पल्य का शुभारंभ राज्यपाल मंगु भाई पटेल ने किया। इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष नरेन्द्र सिंह तोमर, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार, संसदीय कार्यमंत्री कैलाश विजयवर्गीय, प्रदेश सरकार के अन्य मंत्री, विधायक एवं अधिकारी उपस्थित रहे।

इथियोपिया के दौरे पर मोदी:डिनर पार्टी में गूंजा वंदे मातरम, वीडियो वायरल, पीएम ने बताया भावुक करने वाला पल
अदीस अबाबा। भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का दो दिवसीय इथियोपियाई दौरे का दूसरा दिन है। इथियोपिया में पीएम मोदी का भव्य तरीके से स्वागत किया गया। इस दौरान उन्हें इथियोपिया के सर्वोच्च सम्मान से भी नवाजा गया। मंगलवार को आयोजित इस डिनर पार्टी में पीएम मोदी का स्वागत वंदे मातरम गीत गाकर किया गया। डिनर के दौरान, इथियोपियाई संगीतकारों ने वंदे मातरम गाया। वीडियो में देखा जा सकता है कि प्रधानमंत्री इस गीत का भरपूर आनंद ले रहे हैं। देखते ही देखते वह अपने दोनों हाथ उठाकर ताली बजाते हैं और कलाकारों की सराहना करते हैं। बता दें, भारत में वंदे मातरम के राष्ट्रीय गीत के बनने के 150 साल पूरे होने का जश्न मनाया जा रहा है। ऐसे में इस गीत का पीएम मोदी के स्वागत में गाया जाना और भी खास हो गया।सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर उस पल का एक वीडियो शेयर करते हुए, पीएम मोदी ने लिखा, कल प्रधानमंत्री अबी अहमद अली द्वारा होस्ट किए गए बैंक्वेट डिनर में, इथियोपियाई संगीतकारों ने वंदे मातरम का एक शानदार गाना गाया। यह बहुत ही भावुक करने वाला पल था, वह भी ऐसे समय में जब हम वंदे मातरम के 150 साल पूरे होने का जश्न मना रहे हैं।अबी अहमद के आमंत्रण में इथियोपिया पहुंचे मोदीप्रधानमंत्री मोदी मंगलवार को इथियोपिया पहुंचे। यह दौरा प्रधानमंत्री अबी अहमद के आमंत्रण पर हुआ, जो भारत-इथियोपिया रिश्तों की बढ़ती रणनीतिक और कूटनीतिक अहमियत को दिखाता है। प्रधानमंत्री मोदी के पहुंचने के तुरंत बाद दोनों नेताओं को एयरपोर्ट पर ही छोटी सी अनौपचारिक बातचीत करते देखा गया।मोदी ने इथियोपिया सरकार का जताया आभारपीएम मोदी ने इसके लिए इथियोपिया की सरकार और वहां की जनता का आभार भी जताया है। इसके साथ ही उन्होंने अदीस अबाबा में अपने इथियोपियाई समकक्ष अबी अहमद अली द्वारा आयोजित एक डिनर पार्टी का एक दिल को छू लेने वाला पल सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर शेयर किया।


